• Sports News
  • Hindi Cricket News
  • League 2
  • 4 मशहूर खिलाड़ी जिन्होंने दो देशों के लिए खेला है वर्ल्ड कप
दो देशों से विश्वकप खेलने वाले खिलाड़ी

4 मशहूर खिलाड़ी जिन्होंने दो देशों के लिए खेला है वर्ल्ड कप

क्रिकेट की सबसे बड़ी प्रतियोगिता आईसीसी वर्ल्ड कप का आयोजन हर चार साल में होता है और इस टूर्नामेंट में बेहतरीन प्रदर्शन करना हर खिलाड़ी और हर टीम का सपना होता है। हालांकि अभी तक केवल पीली जर्सी वाली ऑस्ट्रेलियाई टीम ही पांच बार विश्वकप के खिताब को जीतने में सफल हो सकी है और सबसे सफल टीम के रूप में अपनी पहचान बनाई है।

Ad

वहीं ऑस्ट्रेलिया के बाद भारत और वेस्टइंडीज का नंबर आता है। इन दो टीमों ने दो-दो बार विश्वकप खिताब अपने नाम किया है। इसके अलावा पाकिस्तान और श्रीलंका ने भी एक-एक बार विश्वकप टूर्नामेंट जीता है। अभी तक जितने भी विश्वकप मुकाबले खेले गए हैं, उनमें बहुत से खिलाड़ियों ने बेहतरीन प्रदर्शन किया है और प्लेयर ऑफ द टूर्नामेंट का खिताब अपने नाम किया है। वहीं कुछ ऐसे मशहूर खिलाड़ी भी रहे हैं, जो शानदार प्रदर्शन करने के बाद भी अपने करियर में एक भी विश्वकप नहीं खेल सके।

Ad

लेकिन क्या आपको मालूम है कि क्रिकेट जगत में ऐसे भी खिलाड़ी हुए हैं, जिन्होंने एक नहीं बल्कि दो देशों की टीमों से विश्वकप खेला है। आज हम आपको ऐसे ही चार खिलाड़ियों के बारे में बताने जा रहे हैं, जिन्होंने दो देशों से विश्वकप खेला है।

Ad

#4 इयोन मोर्गन (आयरलैंड- 2007, इंग्लैंड- 2011, 2015 और 2019)

Ad
इयोन मॉर्गन
Ad

इंग्लैंड के तूफानी बल्लेबाज इयोन मोर्गन एक ऐसे खिलाड़ी हैं, जिन्होंने इंग्लैंड की ओर से तो विश्वकप खेला ही है और वह 2019 के वर्ल्डकप में भी इंग्लैंड की टीम में शामिल हैं लेकिन वह इस टीम के अलावा आयरलैंड की टीम से भी 2007 का विश्वकप खेल चुके हैं। उन्होंने अपना पहला विश्वकप आयरलैंड के साथ ही खेला था लेकिन उसके बाद उन्होंने 2009 में वह इंग्लैंड की टीम में शामिल हो गए थे। जिसके बाद वह 2011 और 2015 का विश्वकप इस टीम के साथ खेल चुके हैं और विश्वकप 2019 में भी वह इस टीम के साथ खेल रहे हैं।

Ad

यह भी पढ़ें : 7 मशहूर भारतीय क्रिकेटर जिन्होंने अपने करियर में एक भी वर्ल्ड कप मैच नहीं खेला

Ad

#3 एड जॉएस (इंग्लैंड- 2007, आयरलैंड- 2011 और 2015)

Ad
एड जॉएस

दो देशों से विश्वकप खेलने वाले खिलाड़ियों में एक और यूरोपीय खिलाड़ी का नाम शामिल है। हम बात कर रहे हैं एड जॉएस की, जिन्होंने अपना पहला विश्वकप इंग्लैंड की ओर से 2007 में खेला था। जिसमें उन्होंने दो अर्धशतक लगाए थे। हालांकि इसके बाद उन्होंने अपने देश के लिए खेलने का निर्णय लिया और इंग्लैंड की टीम को छोड़ आयरलैंड की टीम में शामिल हो गए।

उन्होंने आयरलैंड के साथ 2011 और 2015 का विश्वकप खेला है। एड जॉएस को आयरलैंड टीम के उदय के लिए एक महत्वपूर्ण खिलाड़ी के रूप में जाना जाता है, उनकी 84 रनों की पारी की बदौलत ही 2015 के विश्वकप में इस टीम ने वेस्टइंडीज के खिलाफ 300 रनों से ज्यादा का स्कोर का पीछा किया था और सफलता पाई थी।

यह भी पढ़ें : World Cup 2019 : इन 4 खिलाड़ियों में से कोई एक जीत सकता है मैन ऑफ द टूर्नामेंट का खिताब

Ad

#2 एंडरसन कमिंस (वेस्ट इंडीज- 1992, कनाडा- 2007)

एंडरसन कमिंस
Ad

एंडरसन कमिंस का जन्म बारबाडोस में हुआ था। उन्होंने यहीं से अपने क्रिकेट करियर की शुरुआत करते हुए वेस्टइंडीज की टीम से 1992 में पहला विश्वकप खेला और इस विश्वकप में उन्होंने 12 विकेट अपने नाम किए थे। इस टूर्नामेंट में उन्होंने 6 मुकाबले खेले थे। वह 1993 तक इस टीम में शामिल रहे और 1996 में उन्होंने अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट से खुद को दूर कर लिया। लेकिन एक बार फिर से उन्हें लगभग 40 साल की उम्र में कनाडा की टीम में शामिल किया गया।

यह भी पढ़ें : वर्ल्डकप 2019 : युवराज सिंह ने रोहित शर्मा को लेकर की बड़ी भविष्यवाणी

कनाडाई टीम को 2007 के विश्वकप में शामिल किया गया तो इस टीम की ओर से एंडरसन को एक और विश्वकप खेलने का मौका मिला। कनाडा ने उस विश्वकप में तीन मुकाबले खेले थे, जबकि एंडरसन ने अपना एकमात्र मैच केन्या के खिलाफ खेला था और उसके बाद उन्होंने क्रिकेट को अलविदा कह दिया।

#1 केप्लर वेसल्स (ऑस्ट्रेलिया- 1983 और साउथ अफ्रीका- 1992)

केप्लर वेसल्स
Ad

केप्लर वेसल्स का जन्म साउथ अफ्रीका में हुआ था, वह एक बाएं हाथ के शानदार बल्लेबाज थे लेकिन उन्होंने अपना पहला विश्वकप साउथ अफ्रीका के लिए नहीं बल्कि ऑस्ट्रेलिया के लिए खेला था। क्योंकि आईसीसी ने साउथ अफ्रीका पर उस दौरान बैन लगा दिया था। केप्लर को सन 1982 में ऑस्ट्रेलियाई टीम में चुना गया था। जिसके बाद वह 1983 के विश्वकप में इस टीम का हिस्सा रहे।

यह भी पढ़ें : वर्ल्ड कप खेलने वाले एसोसिएट देशों के तीन खिलाड़ी जिन्हें हमेशा याद किया जाएगा

हालांकि अगले विश्वकप से पहले ही उन्होंने संन्यास का ऐलान कर दिया था। लेकिन एक बार फिर से जब 1991 में साउथ अफ्रीका से बैन हटा लिया गया तो केप्लर साउथ अफ्रीकन टीम में शामिल हो गए और अपना दूसरा विश्वकप उन्होंने 1992 में साउथ अफ्रीका की ओर से खेला। उन्होंने साउथ अफ्रीका की ओर से अपना पहला मैच ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ ही खेला था। उस विश्वकप में उनकी टीम सेमीफाइनल तक पहुंचने में कामयाब हुई थी। हालांकि इसके बाद केप्लर ने क्रिकेट को अलविदा कह दिया।

Hindi Cricket News, सभी मैच के क्रिकेट स्कोर, लाइव अपडेट, हाइलाइट्स और न्यूज स्पोर्टसकीड़ा पर पाएं

Ad
Edited by
सावन गुप्ता
 
See more
More from Sportskeeda