एक मैच को जीतने के लिए टीम के हर खिलाड़ी का योगदान अहम होता है। कोई खिलाड़ी बल्लेबाजी, कोई गेंदबाजी तो कोई अच्छी फील्डिंग से टीम की जीत में योगदान देने की कोशिश करता है। इन सब खिलाड़ियों के बीच कप्तान की अपनी एक अलग जिम्मेदारी होती है। कप्तान वो होता है जो पूरी टीम को एक दूसरे से बांध कर चलता है। कप्तानी एक कला है। कुछ खिलाड़ी कप्तान के तौर पर सफल होते हैं तो कुछ नहीं। एक कप्तान अपने खेल से बाकी खिलाड़ियों के लिए उदाहरण पेश करता है। उसे पूरी टीम को लेकर चलना होता है और हमेशा टीम का मनोबल बनाए रखना होता है। वर्ल्ड क्रिकेट में अब तक कई ऐसे कप्तान हुए हैं जिन्होंने अपनी कप्तानी से मिसाल पेश की है। इनमे से कुछ कप्तान काफी आक्रामक शैली के रहे हैं तो कुछ काफी कूल रहे हैं। कुछ कप्तान ऐसे भी रहे हैं रणनीति बनाने में काफी माहिर रहे हैं। किसी भी खिलाड़ी के लिए टीम की कप्तानी करना काफी सम्मान की बात होती है। लेकिन कुछ खिलाड़ी कप्तानी का बोझ उठा पाते हैं तो कुछ दबाव में आ जाते हैं। इससे उनका खेल भी काफी प्रभावित होता है। इस समय की टीमो में कई ऐसे कप्तान हैं जो लगातार अपनी कप्तानी से सफलता प्राप्त कर रहे हैं। लेकिन सही समय पर इनके उत्तराधिकारी की तलाश जरुरी है। आखिर ऐसा समय आएगा जब इन कप्तानों के विकल्प की जरुरत होगी। कौन होंगे वो खिलाड़ी जो इनकी जगह ले सकते हैं। आइए आपको बताते हैं 10 ऐसे ही खिलाड़ियों के बारे में जो भविष्य के कप्तान हो सकते हैं। पीटर हैंड्सकोंब (ऑस्ट्रेलिया) पिछले कुछ सालों से ऑस्ट्रेलियाई टीम में एक से बढ़कर एक कप्तान हुए हैं। स्टीव वॉ, रिकी पोंटिंग, एलन बॉर्डर, डॉन ब्रेडमैन जैसे प्लेयरों ने अपनी कप्तानी से इतिहास रचा है। इनकी कप्तानी में कंगारु टीम ने सफलता के नए आयाम स्थापित किए। इस समय टीम के कप्तान स्टीव स्मिथ हैं जो कि अच्छी कप्तानी कर रहे हैं, लेकिन स्मिथ के बाद कंगारु टीम का अगला कप्तान कौन होगा, क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया इस बारे में भी जरुर सोच रही होगी। कई खिलाड़ी हैं लेकिन पीटर हैंड्सकोंब एक मजबूत दावेदार नजर आ रहे हैं। पीटर हैंड्सकोंब ऑस्ट्रेलिया A टीम की भी कप्तानी कर चुके हैं। शेफील्ड शील में उन्होंने काफी शानदार प्रदर्शन किया था। रांची टेस्ट में भारत के खिलाफ एक अहम पारी खेलकर उन्होंने ऑस्ट्रेलिया को हार के मुंह से बचाया। हैंड्सकोंब काफी सुलझे हुए खिलाड़ी हैं। मैदान पर वो काफी कूल नजर आते हैं। वो निश्चित तौर पर भविष्य के कप्तान हो सकते हैं। कंगारु टीम को वो बेहतर तरीके से लीड करने में सक्षम हैं। टॉम लेथम (न्यूजीलैंड) टॉम लेथम कीवी टीम के लिए क्रिकेट के तीनों फॉर्मेट में खेलते हैं और वनडे मैचो में टीम की कप्तानी भी कर चुके हैं। उनकी सबसे खास बात ये है कि वो किसी भी क्रम पर बल्लेबाजी करने में सक्षम हैं। नंबर एक से लेकर नंबर 9 तक वो कहीं भी बल्लेबाजी कर सकते हैं। हालांकि ऊपरी क्रम में वो ज्यादा सफल रहे हैं। उन्होंने कई अच्छी पारियां खेली हैं। वो टीम के अब नियमित सदस्य बन गए हैं। उनके अंदर पारी संवारने की कला बखूबी है और वो जरुरत पड़ने पर वो तेजी से रन बनाने में भी सक्षम हैं। 32 मैचो में वो अब तक 6 शतक जड़ चुके हैं। वो न्यूजीलैंड के लिए बेहतर कप्तान साबित हो सकते हैं। बेन स्टोक्स (इंग्लैंड) बेन स्टोक्स आईपीएल इतिहास के सबसे महंगे खिलाड़ी हैं। जब से उन्होंने क्रिकेट में पदार्पण किया तब से पीछे मुड़कर नहीं देखा। वो इस वक्त दुनिया के बेहतरीन ऑलराउंडरों में से एक हैं। 35 टेस्ट मैचो में वो अभी तक 2120 रन बना चुके हैं। उनका सर्वाधिक स्कोर 258 रन है। गेंदबाजी में भी 35 टेस्ट मैचो में स्टोक्स 86 विकेट चटका चुके हैं। वहीं इस वक्त वो दुनिया के बेस्ट फील्डरों में से एक हैं। इस समय स्टोक्स इंग्लैंड के उपकप्तान हैं और उनके अंदर टीम को लीड करने की पूरी क्षमता है। कुसल मेंडिस (श्रीलंका) कुमार संगकारा और महेला जयवर्द्धने जैसे खिलाड़ियों के संन्यास लेने के बाद श्रीलंकाई क्रिकेट टीम में कोई बड़ा नाम नही रह गया है। इन दिग्गज खिलाड़ियों के जाने के बाद श्रीलंकाई टीम अब बेहद साधारण लगती है। हालांकि इन सबके बीच कुसल मेंडिस जैसे युवा खिलाड़ियों ने अपने खेल से काफी प्रभावित किया है। कुसल की तकनीक काफी अच्छी है और वो काफी अच्छे से गेंदबाजों का सामना करते हैं। उनकी इसी खूबी ने उन्हे वर्ल्ड क्रिकेट का एक बेहतरीन बल्लेबाज बना दिया है। पल्लीकेले में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ 176 रनों की उनकी पारी काफी बेहतरीन थी। इससे उनकी काबिलियत का पता चलता है। हालांकि कुसल मेंडिस का टेस्ट मैचो में औसत 34.82 है। अगर उन्हे वर्ल्ड क्रिकेट का बेस्ट बैट्समैन बनना है तो फिर उनको अपना औसत 40 या उसके पार ले जाना होगा। अगर वो इसी तरह खेलते रहे तो निश्चित ही एक दिन दुनिया के बेस्ट बैट्समैन होंगे और उन्हे टीम की कप्तानी भी मिल सकती है। क्विंटन डी कॉक (साउथ अफ्रीका) टेस्ट क्रिकेट में भी क्विंटन डी कॉक 72.79 की स्ट्राइक रेट से बल्लेबाजी करते हैं। वो काफी आक्रामक तरीके से बल्लेबाजी करते हैं। क्रिकेट के तीनों ही प्रारुपों में उनके खेलने का तरीका एक ही रहता है। यही वजह है कि कुछ लोग उनकी तुलना पूर्व ऑस्ट्रेलियाई विकेटकीपर बल्लेबाज एडम गिलक्रिस्ट से करने लगे हैं। 24 साल के क्विंटन डी कॉक अब तक अपने करियर में कुल मिलाकर 15 शतक लगा चुके हैं। डिकॉक अपने खेल पर काफी मेहनत करते हैं और खेल को अच्छे से समझते हैं। निश्चित तौर पर वो साउथ अफ्रीका के अगले कप्तान हो सकते हैं। करुण नायर (इंडिया) आईपीएल से हर साल नए युवा क्रिकेटर भारतीय टीम को मिलते हैं। चाहे वो हार्दिक पांड्या हों, अक्षर पटेल, केएल राहुल, युजवेंद्र चहल, ये सभी खिलाड़ी आईपीएल में शानदार प्रदर्शन के बाद विश्व स्तर पर उभरे। करुण नायर भी इन्ही में से एक खिलाड़ी हैं। उन्होंने 2016 में जिम्बॉब्वे के खिलाफ वनडे मैच से डेब्यू किया। हालांकि करुण नायर डोमेस्टिक क्रिकेट में लगातार रन बना रहे थे, जिसका उन्हे इनाम मिला। बेहतरीन बल्लेबाजी और खेल को समझने की उनकी कला की वजह से उन्हे कर्नाटक टीम का कप्तान बनाया गया। आईपीएल में भी जहीर खान की अनुपस्थिति में उन्होंने दिल्ली डेयरडेविल्स की कप्तानी की। नंवबर 2016 में इंग्लैंड के खिलाफ मैच से उन्होंने टेस्ट क्रिकेट में पदार्पण किया। तीसरे टेस्ट मैच में ही वो वीरेंद्र सहवाग के बाद तिहरा शतक जड़ने वाले भारत के दूसरे बल्लेबाज बन गए। हालांकि करुण नायर लगातार अच्छा प्रदर्शन नहीं कर पाए हैं। इसीलिए वो टीम से अंदर-बाहर होते रहे हैं। लेकिन उनके अंदर एक बेहतर कप्तान के सारे गुण हैं। शब्बीर रहमान (बांग्लादेश) 25 साल के शब्बीर रहमान बांग्लादेश के उभरते हुए युवा क्रिकेटर हैं। रहमान 31.83 की औसत से प्रथम श्रेणी क्रिकेट में 1, 500 से ज्यादा रन बना चुके हैं। रहमान बांग्लादेशी बल्लेबाजी के भरोसेमंद बल्लेबाजों में से एक हैं। वो काफी ठंडे दिमाग से अपने शॉट खेलते हैं। खेल को वो काफी बारीकी से सीख रहे हैं। बांग्लादेश प्रीमियर लीग में रहमान का सर्वाधिक व्यक्तिगत स्कोर है। 122 रनों के साथ वो एक पारी में सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ी हैं। बाबर आजम (पाकिस्तान) बाबर आजम पाकिस्तान के बेहतरीन बल्लेबाज हैं। वो टीम को बल्लेबाजी में लीड करते हैं। बाबर आजम ने अंडर-19 वर्ल्ड कप में पाकिस्तानी टीम की कप्तानी की थी और वो अपनी टीम की तरफ से सबसे ज्यादा रन बनाने वाले बल्लेबाज थे। महज 22 साल की उम्र मे ही वो पाकिस्तानी टीम के एक भरोसेमंद बल्लेबाज बन गए हैं। दुबई में उन्होंने वेस्टइंडीज के खिलाफ सीरीज में लगातार 3 शतक लगाए थे। ये उनकी करियर की अब तक की हाईलाइट है। उन्हे पाकिस्तान का विराट कोहली कहा जाता है। उनके पास एक सफल कप्तान बनने की पूरी क्षमता है। इविन ल्यूइस (वेस्टइंडीज) इविन ल्यूइस वेस्टइंडीज के बेहद ही प्रतिभाशाली बल्लेबाज हैं। अक्टूबर 2009 में उन्होंने लिस्ट A श्रेणी में डेब्यू किया। वर्ल्ड कप में भी वो टीम का अहम हिस्सा रहे। ल्यूइस काफी विस्फोट बल्लेबाज हैं। टी-20 क्रिकेट में उनके नाम चेज करते हुए सबसे ज्यादा रन बनाने का रिकॉर्ड है। ब्रेंडन मैक्कलम और क्रिस गेल के बाद टी-20 क्रिकेट में 2 शतक लगाने वाले वो तीसरे क्रिकेटर हैं। एक ही अपोजिशन के खिलाफ 2 शतक लगाने वाले वो पहले खिलाड़ी हैं। बोर्ड के साथ विवाद के कारण वेस्टइंडीज की टीम इस वक्त मुश्किल में चल रही है। थोड़ा अनुभव हासिल करने के बाद वो कैरिबियाई टीम को लीड कर सकते हैं। लेखक-अनोस सुब्बावाला अनुवादक-सावन गुप्ता