7- वीरेंदर सहवाग
सहवाग जीतने भी साल क्रिकेट खेले, उनके पैर कभी भी नहीं चले, खासकर स्विंगिंग कंडीशन में तो बिल्कुल भी नहीं, ऊपर से नई गेंद के सामने, इसलिए जब सहवाग से ओपनिंग कराई गई, तो सब हैरान रह गए थे। उन्होंने अपना डैब्यू छठे नंबर पर खेलते हुए किया और शानदार शतक भी लगाया। टीम के मिडिल ऑर्डर रहते उन्होंने 5 टेस्ट खेले और 2002 में लॉर्ड्स में उन्हें ओपनिंग करने का मौका मिला।
उन्होंने शानदार 84 रन बनाए और इसी फॉर्म को अगले मैच में भी जारी रखा और अगले मैच में अपना दूसरा टेस्ट शतक लगाया। ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ मारे गए 195 रन भी बहुत शानदार थे और उसी वक़्त उन्होंने अपनी असली क्लास दिखाई। हालांकि 2004 में उन्होंने बल्लेबाज़ी के मायने ही बादल दिए और बेहतरीन 309 रन बनाए, जो किसी भी भारतीय का सबसे पहला तिहरा शतक था। सहवाग ने अपने ही अंदाज़ में क्रिकेट खेली और टीम को अपने दम पर कई मुक़ाबले जिताए।