भारतीय चयन समिति के मुख्य चयनकर्ता एमएसके प्रसाद ने गुरुवार को 15 सदस्यीय टीम की घोषणा की, जो इस अक्टूबर से शुरू होने वाली तीन मैचों की टेस्ट श्रृंखला में दक्षिण अफ्रीका का सामना करेगी। दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ श्रृंखला के पहले टेस्ट मैच से भारत का घरेलू सीजन भी शुरू हो जाएगा। विराट कोहली के नेतृत्व वाली भारतीय टीम अगले दो महीने में पांच टेस्ट खेलने वाली है। विश्व टेस्ट चैंपियनशिप में भारत का यह पहला घरेलू टेस्ट मैच होगा।
मयंक अग्रवाल के साथ रोहित शर्मा को ओपनिंग के लिए चुना गया, जबकि ऋषभ पंत को टेस्ट प्रारूप में विकेटकीपर के रूप में अपनी योग्यता साबित करने का एक और मौका दिया गया। जहां कुछ खिलाड़ी खराब प्रदर्शन के बावजूद भी अपनी जगह बचाने में कामयाब रहें, वहीं कुछ ऐसे भी हैं जो अभी भी टेस्ट टीम में शामिल होने के अवसर का इंतजार कर रहे हैं।
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आइये देखते हैं वे 3 खिलाड़ी कौन हैं जो भारत की टेस्ट टीम में जगह बनाने के हकदार थें।
#3 अभिमन्यु ईश्वरन
बंगाल के लिए खेलते हुए बाएं हाथ के ओपनिंग बल्लेबाज ईश्वरन चार दिवसीय रणजी ट्रॉफी में अपने राज्य की टीम के मुख्य आधार रहे हैं। भारतीय घरेलू सर्किट में हर स्तर पर रनों के अंबार लगाते हुए, 24 वर्षीय ईश्वरन ने काफी कम समय में भारत ए टीम में जगह बनाई है। 95.67 की शानदार औसत से 11 मैचों में 861 रन बनाने के साथ अभिमन्यु ईश्वरन रणजी ट्रॉफी 2018-19 के सातवें सबसे अधिक रन बनाने वाले बल्लेबाज हैं।
पिछले कुछ वर्षों में उनकी निरंतरता ने उन्हें भारतीय टीम में जगह बनाने के करीब पहुंचने में मदद की है। प्रथम श्रेणी के लगभग 50 की औसत से रन बनाने के बाद भी द. अफ्रीका के खिलाफ टीम में शामिल नहीं होने से ईश्वरन को निराशा जरूर हुई होगी।
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#2 भुवनेश्वर कुमार
सीमित ओवरों के प्रारूप में भारतीय टीम का नियमित रूप से हिस्सा रहे भुवनेश्वर कुमार का करियर पीठ की चोट के कारण पटरी से उतर गया था। चोट के कारण उन्हें 2018 में इंग्लैंड के खिलाफ टेस्ट श्रृंखला से बाहर होना पड़ा था। इससे उनके टेस्ट टीम में वापसी करने के अवसरों को एक बड़ा झटका लगा था।
उन्होंने आखिरी बार जोहानसबर्ग में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ एक टेस्ट मैच खेला था। घरेलू टेस्ट सीरीज में भी टीम से बाहर होने से पता चलता है कि उनके लिए टेस्ट टीम के दरवाजे शायद बंद हो गए हैं। अब सफेद गेंद की क्रिकेट में कोई चमत्कारिक प्रदर्शन ही उन्हें टेस्ट टीम में वापस जगह पाने में मदद कर सकता है।
#1 प्रियांक पांचाल
भविष्य के उभरते खिलाड़ियों में से एक प्रियंक पांचाल ने घरेलू क्रिकेट में अपने लगातार अच्छे प्रदर्शन के साथ अपना नाम बनाया है। 2016-17 का घरेलू सीजन गुजरात मे जन्मे इस बल्लेबाज के लिए काफी सफल रहा था। वह उस वर्ष रणजी ट्रॉफी में सबसे अधिक रन बनाने वाले खिलाड़ी थे। उन्होंने प्रतियोगिता के इतिहास में पहली बार अपनी टीम को खिताब जिताते हुए लगभग 1300 रन बनाए।
इसके बाद से पांचाल ने पीछे मुड़कर नहीं देखा है। उनको भारत ए टीम में भी जगह मिली है। हालांकि, भारतीय टीम में सीमित स्थानों की उपलब्धता के कारण पांचाल राष्ट्रीय टीम में जगह पाने में विफल रहे।
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