क्रिक एडवर्ड्स के लिए भारत के ख़िलाफ़ अपने पहले टेस्ट मैच में शतक लगाना किसी सपने के सच होने जैसा था। 2011 में वो वेस्टइंडीज़ के उभरते हुए सितरे थे, उस वक़्त टीम इंडिया वेस्टइंडीज़ के दौरे पर गई थी। एडवर्ड्स ने हरभजन सिंह, प्रवीण कुमार, ईशांत शर्मा और मुनाफ़ पटेल जैसे शानदार गेंदबाज़ों का सामना करते हुए शतक लगाया। उनके साथ बल्लेबाज़ी करते हुए अनुभवी शिवनारायण चंद्रपॉल ने भी सैंकड़ा जड़ा था।
हांलाकि उसके बाद वैसा नहीं हुआ जैसा कि एडवर्ड्स चाहते थे। वो अगले कुछ टेस्ट मैच में अपनी बल्लेबज़ी को लेकर जद्दोजहद करते हुए दिखे। वेस्टइंडीज़ की टीम उस वक़्त मध्य क्रम के अच्छे बल्लेबाज़ों की तलाश कर रही थी। अगले 16 टेस्ट मैच में एडवर्ड्स ने एक और शतक और 8 अर्धशतक लगया था। लेकिन उसके बाद वेस्टइंडीज़ के चयनकर्ताओं ने उन्हें मौका नहीं दिया। एडवर्ड्स ने साल 2014 में अपना आख़िरी टेस्ट मैच खेला था। अब उन्हें दोबारा मौका मिलना मुश्किल है।