एसोसिएट देश के गेंदबाजों द्वारा 5 सर्वश्रेष्ठ वनडे स्पेल

22 जून 2017 को अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट परिषद ने अफगानिस्तान और आयरलैंड का टेस्ट प्रारूप में स्वागत किया। हालाँकि यह एक उपहास का विषय होगा कि 2019 विश्वकप में जिम्बाब्वे और आयरलैंड की टीम हिस्सा नहीं होगी। दस टीम के इस संस्करण में पहली बार एक नहीं बल्कि दो पूर्ण सदस्य खेल के प्रमुख टूर्नामेंट से गायब होंगे। पहले चार संस्करणों के दौरान दक्षिण अफ्रीका की रंगभेद नीति के कारण निलंबन के अलावा, विश्व कप ने इस तरह के पक्षपात को जन्म नहीं दिया है। ऐसी कमजोर परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए, एसोसिएट टीमों की दुर्दशा और भी बदतर दिखाई देती है। गैर-पूर्ण सदस्यों ने हमें वनडे इतिहास में कई यादगार क्षण भी प्रदान किए हैं। इस लेख में हम किसी समय पर एसोसिएट टीम की सदस्यता रखने वाले गेंदबाजों द्वारा दिए गए पांच सर्वश्रेष्ठ वनडे प्रदर्शनों के बारें में आपको बतायेंगे । आश्चर्य की बात नहीं है, लेकिन पांच सबसे प्रभावशाली स्पेल विश्व कप के विभिन्न संस्करणों में आये हैं-

#5 आंद्रे बोथा- 8 ओवर में 2/5 बनाम पाकिस्तान, जमैका (2007)

विश्व कप 2007 का संस्करण खेल की आगामी प्रकृति पर बड़े पैमाने पर बदलाव लेकर आया। फ्लैगशिप टूर्नामेंट में 16 टीमों को चार समूहों में बांटा गया था। जिसमें एशियाई पावरहाउस भारत और पाकिस्तान अपने संबंधित समूहों को प्रगति कराने में नाकाम रहे। इसलिए खेल के संरक्षकों ने प्रारूप में बदलाव लाते हुए विश्व कप में एसोसिएट देशों को टूर्नामेंट का हिस्सा बनाया। पाकिस्तान ने मेजबान वेस्टइंडीज के हाथों 54 रनों से हारकर अपने अभियान की शुरुआत की थी। आयरलैंड और जिम्बाब्वे के बीच मैच टाई में समाप्त होने के साथ, अगले मैच में आगे बढ़ने के दौरान नयी नवेली टीम काफी उत्साही दिखाई दे रही थी। धुंधले बादलों के नीचे आयरलैंड ने एक महत्वपूर्ण टॉस जीता और पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया। आगे जो कुछ भी हुआ वह शायद ही विश्वास करने वाला था क्योंकि उन्होंने पाकिस्तान को 45.4 ओवरों में केवल 132 रनों पर आउट कर दिया था। मध्यम तेज गेंदबाज आंद्रे बोथा ने वनडे में सबसे आश्चर्यजनक गेंदबाजी प्रदर्शनों में से एक का प्रदर्शन किया। उन्होंने आठ ओवर फेंके और केवल पांच रन दिये। चार ओवर मेडन डालने के अलावा उन्होंने इमरान नाज़ीर और कप्तान इंजमाम-उल-हक को आउट कर पवेलियन का रास्ता दिखाया। एक प्रसिद्ध आयरिश जीत स्थापित करने वाला यह जादूगर गेंदबाज विश्व कप के इतिहास में संयुक्त रूप से तीसरा (कम से कम पांच ओवर) सबसे शानदार इकॉनमी देने वाला खिलाड़ी बना हुआ है।

#4 एलेक्स कुसैक- 4/32 बनाम जिम्बॉम्वे, होबार्ट (2015)

2007 के संस्करण में रोमांचक टाई के बाद आयरलैंड और जिम्बाब्वे ने 2015 के विश्वकप संस्करण के दौरान याद करने वाला एक और मैच दिया। होबार्ट में बेलरिव ओवल में एक सपाट पिच थी। एड जॉयस के शतक और एंडी बैलबर्नी के आक्रामक 97 के बदौलत आयरलैंड ने 331 रन बनाये। आयरिश सीमर ने नई गेंद का बेहतरीन उपयोग किया और ज़िम्बाब्वे के शीर्ष क्रम को ध्वस्त कर दिया। 41/3 पर, रन-चेस करना मजबूत धारदार स्विंग के आगे मुश्किल लग रहा था। कप्तान ब्रेंडन टेलर ने पारी को पुनर्जीवित करने के लिए शॉन विलियम्स के साथ हाथ मिलाया। उनकी शानदार भागीदारी की बदौलत समीकरण को 78 गेंदों में 110 कर दिया। सीमर एलेक्स कुसैक, जिन्होंने सलामी बल्लेबाज चमु चिभाभा को अपने पहले स्पेल में आउट किया था, वह आयरलैंड को एक अनमोल सफलता प्रदान करने के लिए लौटे। उनकी स्लोअर डिलीवरी ने शतक लगा चुके टेलर को पवेलियन वापस भेज दिया। उसे अंतिम ओवर से सात रनों की बचाने थे, कुसैक के कटर से रेजिस चकबावा और तेज तर्रार तवांडा मुपारिवा को आउट कर दिया और आयरलैंड ने सिर्फ पांच रनों से मैच छीन लिया।

#3 डंकन फ्लेचर - 4/42 बनाम ऑस्ट्रेलिया, ट्रेंट ब्रिज (1983)

1983 के विश्वकप में आठ टीमों ने भाग लिया था। 1982 आईसीसी ट्रॉफी जीतने के आधार पर योग्यता प्राप्त करने के बाद जिम्बाब्वे ने इस बड़े स्तर पर अपनी शुरुआत की। टूर्नामेंट में उनका पहला मैच आश्चर्यजनक से कम नहीं था। अनुभवहीन संगठन ने ऑस्ट्रेलियाई लाइनअप को झटका दिया, जिसमें केप्लर वेसल्स, किम ह्यूज, एलन बॉर्डर, रॉड मार्श, डेनिस लिली और जेफ थॉमसन शामिल थे। ट्रेंट ब्रिज में बल्लेबाजी करने उतरी जिम्बाब्वे की टीम ने कप्तान डंकन फ्लेचर के नाबाद 84 गेंदों पर 69 रनों की बदौलत 60 ओवरों में 239 रन बनाये। जवाब में ऑस्ट्रेलियाई सलामी बल्लेबाजों ने 61/0 एक मजबूत साझेदारी कर टीम को एक अच्छी शुरुआत दी। फ्लेचर ने मीडियम पेस का इस्तेमाल करते हुए जल्द ही ग्रीम वुड और ह्यूज को आउट करके मैच का रुख अपनी ओर मोड़ लिया। जिसके बाद डेविड हुक और ग्राहम यालोप को बाहर करके ऑस्ट्रेलिया के मध्य क्रम को तोड़ दिया। यहां तक ​​कि दिग्गज एलन बॉर्डर जो संकट की स्थिति में टीम के कर्णधार बनते थे वह भी ऑस्ट्रेलिया को 13 रनों की हार से रोक नहीं पाये। मैच के नौ साल बाद, जिम्बाब्वे ने टेस्ट का दर्ज़ा हासिल किया और पूर्ण सदस्यों में शामिल हो गए।

#2 राशिद खान - 7/18 बनाम वेस्टइंडीज़ , ग्रॉस आइलेट (2017)

कुछ हफ्ते पहले पूर्ण सदस्यता से सम्मानित अफगानिस्तान ने तीन टी-20 और तीन एकदिवसीय मैचों के साथ कैरेबियन दौरे की शुरुआत की। खेल के सबसे छोटे प्रारूप में 0-3 सफाया होने के बाद, जब फोकस 50-ओवर संस्करण में स्थानांतरित हो गया लेकिन मेहमान टीम का इरादा कुछ और ही था। अफगानिस्तान ने टॉस जीता और अनुमान के अनुसार ही पहले बल्लेबाजी करना चुना गया था। सलामी बल्लेबाज जावेद अहमद के 81 रनों के साथ उन्होंने 212 रन बना लिये। जवाब में, वेस्टइंडीज के शीर्ष क्रम में लड़खड़ा गया और 22वें ओवर के अंत में 68/2 तक ही पहुंच गए। कप्तान असगर स्टेनिकज़ई ने इस नाजुक मौके का फायदा उठाते हुए आखिरकार राशिद खान को बॉल पकड़ायी। राशिद ने अपनी पहली दो गेंदों में ही कमाल दिखा दिया। जेसन मोहम्मद ने बैक फुट पर होने के कारण अपने विकेट की कीमत चुकानी पड़ी, वही डेब्यू करने वाले रोस्टन चेज़ राशिद की गुगली में फस गये। लेग स्पिनर ने अपने अगले ओवर में शाई होप और जेसन होल्डर को भी वापस भेज दिया। हालांकि वह दोनों मौकों पर हैट्रिक से चूक गए, राशिद ने प्रभावी ढंग से वेस्टइंडीज के मध्यक्रम को बिखेरते हुए उसकी उम्मीदों पर पानी फेर दिया। इस रिस्ट स्पिनर की गुगली एशले नर्स और अल्ज़ारी जोसेफ को संभालने के लिए बहुत थी। आखिरकार उन्होंने मिगुएल कमिन्स को पवेलियन भेज करके अफगानिस्तान की यादगार जीत दे दी। राशिद के 7/18 के सनसनीखेज आंकड़े ने उन्हें सर्वश्रेष्ठ वनडे आंकड़ों की सर्वकालिक सूची में चौथे स्थान पर रखा हुआ है।

#1 कॉलिन्स ओबुया- 5/24 श्रीलंका के खिलाफ, नैरोबी (2003)

2003 के विश्व कप में पुल बी में खेलने वाली केन्या की टीम ने टूर्नामेंट की शुरूआत हार के साथ की थी लेकिन दूसरे मैच में कनाडा को हराने के बाद उन्हें न्यूज़ीलैंड के खिलाफ वॉकओवर मिल गया था क्योंकि न्यूज़ीलैंड की टीम ने सुरक्षा कारणों से नैरोबी जाने से मना कर दिया था। जिसके बाद केन्या का श्रीलंका के साथ रोमांचक मैच हुआ था। इस मैच में केन्या ने टॉस हारकर पहले बल्लेबाजी करते हुए निर्धारित 50 ओवरों में श्रीलंका को जीतने के लिए 210 रनों का लक्ष्य दिया था। मैच में केन्या के सलामी बल्लेबाज केनेडी ओटीयेनो ने शानदार 60 रनों की पारी खेली थी। 210 रनों के स्कोर का पीछा करने उतरी श्रीलंकाई टीम के सलामी बल्लेबाज़ों सनथ जयसूर्या और मर्वन अट्टापट्टू को केन्या के गेंदबाज़ मार्टिन सूज़ी और थॉमस ओडोयो ने शुरूआत में ही पवेलियन भेज दिया था। इसके बाद कॉलिन्स ओबुयो ने नैरोबी के जिमखाना क्लब ग्राउंड पर अपना कमाल दिखाया था। केन्या के इस लेग स्पिनर ने अपने शानदार स्पेल से श्रीलंकन टीम के मध्यक्रम को पूरी तरह से ध्वस्त कर दिया था। ओबुयो ने श्रीलंका के हसन तिलकरत्ने, महेला जयवर्धने, अरविंद डि सिल्वा और कुमार संगाकारा जैसे मजबूत मध्यक्रम के बल्लेबाजों को पवेलियन का रास्ता दिखाया था। दिलचस्प बात ये है कि श्रीलंकाई टीम का मध्यक्रम स्पिन गेंदबाज़ों को खेलने में माहिर था लेकिन ये बल्लेबाज इस मैच में ओबुयो की गुगली को समझने में पूरी तरह से नाकाम रहे थे। इस मैच में केन्या की टीम को 53 रनों की जीत मिली थी। मैच में श्रीलंका की पूरी टीम मात्र 157 रनों पर पवेलियन लोट गई थी। लेखक- राम कुमार अनुवादक- सौम्या तिवारी

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