5 क्रिकेटर जो विश्व कप का मैन ऑफ़ द टूर्नामेंट पुरस्कार जीतने के हक़दार नहीं थे

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2007 विश्व कप
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2003 के विश्व कप के बाद, शायद ही किसी ने सोचा होगा कि एक विश्व कप में सचिन तेंदुलकर के 673 रनों की बराबरी करना किसी भी बल्लेबाज द्वारा संभव होगा और चार साल बाद ऑस्ट्रेलियाई सलामी बल्लेबाज मैथ्यू हेडन ने लगभग इस रिकॉर्ड पार कर ही लिया था, मगर केवल 14 रनों से चूक गये। 2007 विश्व कप में ऑस्ट्रेलिया ने लगातार तीसरी बार विश्व कप जीत लिया और इसके पीछे मुख्य वास्तुकार हेडन थे, जिन्होंने 10 पारियों में 73 के औसत से 659 रन बनाए और वो भी 101 की स्ट्राइक रेट से और तीन शतकों की सहायता से और एक पचास भी। ये ऐसे नंबर हैं जो किसी भी टूर्नामेंट में बल्लेबाज को टूर्नामेंट का सर्वश्रेष्ठ पुरस्कार प्रदान करेगा। लेकिन, आईसीसी विचार और थे क्योंकि उन्होंने हेडन की टीम के साथी ग्लेन मैकग्रा को प्रतिष्ठित पुरस्कार प्रदान किया था। हेडन की तरह, मैक्ग्रा के लिये भी यह एक बेहतरीन टूर्नामेंट था जिसमें उन्होंने 11 मैचों में 13.73 के औसत से और 4.41 की अर्थव्यवस्था के साथ 26 विकेट लिए थे। यह दोनों के बीच एक करीबी दौड़ थी, लेकिन मैक्ग्रा के तुलना में हेडन का अपनी टीम के लिए योगदान थोड़ा ज्यादा था।