हमेशा से कहा जाता रहा है कि क्रिकेट अनिश्चिताओं का खेल है और यह बात साल 2017 में एक बार फिर सिद्ध हो गयी। इस साल कुछ ऐसे बल्लेबाज और गेंदबाज थे जिनसे किसी को कोई खास उम्मीद नहीं थी लेकिन उन्होंने सभी को गलत ठहराते हुए जबरदस्त खेल का प्रदर्शन किया। अभी इस साल कुछ और मैच होने बाकी है लेकिन इन खिलाड़ियों ने जो प्रदर्शन किया है उससे क्रिकेट जगत अचंभित है। आज हम आपको ऐसे ही 5 खिलाड़ियों के बारे में बताएंगे जिन्होंने 2017 कैलेंडर वर्ष में अपने खेल से सभी को आश्चर्यचकित कर दिया: नोट: सभी आंकड़े 21 दिसंबर 2017 तक के हैं
#5 केशव महाराज, दक्षिण अफ़्रीका- (टेस्ट)
दक्षिण अफ्रीका के लंबे समय से किसी अच्छे टेस्ट स्पिन गेंदबाज की खोज इस साल पूरी होती दिखी। अभी उनके करियर का शुरुआती दौर ही है लेकिन उनके प्रदर्शन में यह साफ दिखता है कि वह लंबे रेस के घोड़े हैं। इस बाएं हाथ के स्पिन गेंदबाज ने अपना टेस्ट पदार्पण पिछले वर्ष ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ पर्थ के मैदान पर किया था। महाराज ने आते ही विश्व क्रिकेट में कोई धमाल नहीं मचाया बल्कि वह धीरे-धीरे ऊपर बढ़े और आज वह टेस्ट मैचों में दक्षिण अफ्रीका के प्रमुख स्पिन गेंदबाज हैं। इस साल खेले 10 टेस्ट मैचों में उन्होंने काफी निरन्तर प्रदर्शन किया और मुश्किल पिचों पर भी विकेट झटके। न्यूज़ीलैंड के पारंपरिक तेज गेंदबाजों की मददगार पिच पर 3 टेस्ट मैचों में 15 विकेट झटकते हुए सीरीज में सर्वाधिक विकेट लेने वाले गेंदबाज रहे थे केशव महाराज। वेलिंगटन टेस्ट में उनके सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 6/40 की मदद से मेहमानों ने जीत हासिल कर सीरीज अपने नाम कर ली थी। अगले साल भारत और ऑस्ट्रेलिया जैसी टीमें दक्षिण अफ्रीका के दौरे पर जा रही हैं, ऐसे में महाराज के पास और भी बेहतरीन प्रदर्शन करने का मौका रहेगा। 2017 के आंकड़े: 10 टेस्ट मैचों में 24.76 की औसत और 49.3 की स्ट्राइक रेट से 43 विकेट, जिसमें 2 बार पारी में 5 विकेट
#4 युजवेंद्र चहल, भारत- (एकदिवसीय और टी20 अंतरराष्ट्रीय)
इस साल के शुरुआत में रविचन्द्रन अश्विन और रविन्द्र जडेजा तीनों ही प्रारूपों में भारतीय टीम के प्रमुख स्पिन गेंदबाज थे। लम्बे टेस्ट सीजन के बाद दोनों ही गेंदबाजों को इंग्लैंड के खिलाफ टी20 सीरीज में आराम दिया गया और उनकी जगह टीम में युजवेंद्र चहल को मौका मिला। उसी सीरीज में चहल ने 6/25 का प्रदर्शन कर भारत की तरफ से अंतरराष्ट्रीय टी20 मैचों में 5 विकेट लेने वाले पहले गेंदबाज बन गए। चैंपियंस ट्रॉफी 2017 में अश्विन और जडेजा के लचीले प्रदर्शन की वजह से चयनकर्ताओं ने सीमित ओवरों के खेल में कलाई के गेंदबाजों की अहमियत समझते हुए टीम में इन दोनों गेंदबाजों को शामिल करने का फैसला किया। कुलदीप यादव को जहां उनके अंडर-19 के प्रदर्शन की बदौलत भारतीय टीम में आसानी से जगह मिल गयी वहीं चहल के लिए यह सफर उतना आसान नहीं था। लेकिन चहल एकदिवसीय मैचों में शानदार प्रदर्शन के साथ ही टी20 अंतरराष्ट्रीय मैचों में भी वह साल 2017 में सर्वाधिक विकेट लेने वाले गेंदबाज बन गए हैं। 2017 के आंकड़े: 14 एकदिवसीय में 28.57 की औसत और 4.95 की इकॉनमी रेट से 21 विकेट 10 टी20 अंतरराष्ट्रीय में 14.36 की औसत और 7.28 की इकोनॉमी रेट से 19 विकेट, जिसमें एक बार मैच में 5 विकेट
#3 शाई होप, वेस्टइंडीज़- (टेस्ट)
इयान बिशॉप जैसे खिलाड़ी द्वारा कई बार तारीफ पाने के बावजूद शाई होप अपने करियर के शुरुआत में कुछ खास नहीं कर पाए और अपने पहले 7 टेस्ट मैचों में उनके बल्ले से सिर्फ 17.15 की औसत से रन निकले। इसमें उनका उच्चतम स्कोर मात्र 41 रन था। लेकिन, 2017 में सब कुछ बदल गया। उन्होंने बल्ले से शानदार प्रदर्शन करते हुए वेस्टइंडीज को यादगार जीत भी दिलाई। इस साल उन्होंने टेस्ट मैचों में लगभग 45 की औसत से 773 रन बनाए हैं। होप की खासियत है कि वह मैच के मुश्किल दौर को सावधानी से खेल कर निकाल देते है और फिर रन बनाने को देखते हैं। अगस्त में इंग्लैंड के खिलाफ हेडिंग्ले टेस्ट में मैच की दोनों पारियों में शतक जमाकर उन्होंने वेस्टइंडीज को हाल के दिनों की सबसे यादगार जीत दिलाई। 2017 के आंकड़े: 10 टेस्ट मैचों में 45.47 की औसत से 773 रन, 2 शतक और 3 अर्धशतक
#2 फ़खर ज़मान, पाकिस्तान- (एकदिवसीय)
चैंपियंस ट्रॉफी 2017 में खेलने वाली सबसे नीचे की रैंकिंग वाली पाकिस्तान की टीम ने विजेता बनकर सभी को चौंका दिया। पहले मैच में अपने चिरप्रतिद्वंद्वी भारत के हाथों बुरी तरह हारने के बाद किसी को पाकिस्तान की टीम से ऐसे प्रदर्शन की उम्मीद नहीं थी। उनकी टीम में जीत में सबसे अहम योगदान रहा सलामी बल्लेबाज फखर ज़मान का। दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ करो या मरो वाले मुकाबले में फखर को अहमद शहजाद की जगह सलामी बल्लेबाजी करने का मौका मिला। यह उनका एकदिवसीय का पदार्पण मैच भी था। टीम में आते ही उन्होंने छाप छोड़ना शुरू कर दिया। पहले मैच में उन्होंने 31 रन बनाए और उसके बाद श्रीलंका और इंग्लैंड के खिलाफ अर्धशतकीय पारियां खेली। लेकिन, उनका सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन फाइनल मुकाबले में आया। जसप्रीत बुमराह की गेंद पर आउट होने के बावजूद नो-बॉल की वजह से बचने वाले फखर ने 114 रनों की शानदार शतकीय पारी खेली और पाकिस्तान को पहली बार चैंपियंस ट्रॉफी जीत दिलाने में अहम भूमिका निभाई। 2017 के आंकड़े: 9 एकदिवसीय मैचों में 44.44 की औसत और 100.5 की स्ट्राइक रेट से 400 रन, जिसमें 1 शतक और 2 अर्धशतक शामिल
#1 स्टीव ओ'कीफ़, ऑस्ट्रेलिया- (टेस्ट)
कई लोग वेस्टइंडीज की हेडिंगले में इंग्लैंड पर टेस्ट जीत या पाकिस्तान के चैंपियंस ट्रॉफी जीत को साल का सबसे बड़ा उलटफेर मान सकते हैं लेकिन ऑस्ट्रेलिया की टेस्ट की नं. 1 टीम भारत पर पुणे की टर्निंग पिच पर मिली जीत इन सबसे कहीं ऊपर है। जब ऑस्ट्रेलिया की टीम ने 333 रनों की बड़ी जीत हासिल की तो उन्होंने विराट कोहली की कप्तानी में लगातार 19 मैचों से नहीं हारने के दौर को भी खत्म कर दिया। इसके अलावा पुणे की यह हार अगस्त 2015 से अभी तक की भारत को टेस्ट मैचों में मिली एकमात्र हार है। ऑस्ट्रेलिया की इस जीत में सबसे अहम भूमिका उनके बायें हाथ के स्पिन गेंदबाज स्टीव ओ'कीफ की थी। मैच की दोनों पारियों में उनका प्रदर्शन 6/35 और 6/35 रहा। मैच में उन्होंने 70 रन देकर 12 विकेट हासिल किये और यह किसी भी विदेशी स्पिन गेंदबाज द्वारा भारत की सरजमीं पर सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन है। अपने करियर में टीम से अंदर-बाहर होने वाले इस गेंदबाज ने 5वें ही टेस्ट मैच में ऐसा प्रदर्शन किया जो लंबे समय तक याद रखा जाएगा। उनके इस प्रदर्शन ने ऑस्ट्रेलिया की एशिया में चल आ रहे लम्बे जीत के सूखे को खत्म कर दिया। 2017 के आंकड़े: 6 टेस्ट मैचों में 26.92 की औसत और 62.7 की स्ट्राइक रेट से 25 विकेट, जिसमें 2 बार पारी में 5 विकेट लेखक- राम कुमार अनुवादक- ऋषिकेश सिंह