दिवंगत रमन लांबा क्रिकेट जगत के लिए हमेशा एक पहेली रहेंगे, क्योंकि लांबा ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ एक सनसनीखेज शुरुआत की थी और पहले ही श्रृंखला में 'मैन ऑफ द सीरीज' चुने गए थे। लेकिन इसके बाद लांबा के खेल में लगातार गिरावट होती रही और जल्द ही वह टीम से गुमनाम हो गए। लांबा एक अपरंपरागत बल्लेबाज थे और वह अपने बल्लेबाजी में वह सब प्रयोग करने की कोशिश करते थे, जो उनके दौर के किसी भी बल्लेबाज ने सोचा भी नहीं होगा। वह तेज तेज गेंदबाजों के खिलाफ भी आगे बढ़कर तेज प्रहार करते थे, जो 80 के दशक के किसी भी बल्लेबाज के लिए एक सपना होता था। लांबा ने 1986 में जयपुर में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अपने एकदिवसीय कैरियर की शुरुआत की और 8 चौके और 1 छक्के की मदद से 53 गेंदों में 64 रन बनाया। सीरीज के अगले मैच में भी लांबा ने अर्धशतक ठोका और तीसरे मैच में शतक बनाकर मैन ऑफ दी सीरीज बने। हालांकि लांबा अपने सनसनीखेज शुरुआत को एक लंबे कैरियर में नहीं बदल सके और सिर्फ 32 वनडे मैच खेल सके। मूल लेखक - सोहम समददार अनुवादक - सागर