2012 में युवराज सिंह ने कैंसर का इलाज कराया और इसमें कोई शक नहीं कि ये युवी की जिंदगी का सबसे चुनौतीपूर्ण समय था। ऐसी स्टेज में जहां लोग जीने का मौका मिलने को बड़ा काम मानते हैं, वहीं युवराज ने राष्ट्रीय टीम में वापसी पर आंखें गड़ा रखी थी। युवराज ने यूनाइटेड स्टेट्स में कीमोथेरेपी कराई, जिसकी मदद से उनमें धीमे-धीमे सुधार आया। खब्बू बल्लेबाज ने इस जानलेवा बिमारी को मात दी और राष्ट्रीय टीम में वापसी की; युवराज इस दौरान टीम से अंदर-बाहर होते रहे। हालांकि, 2017 में युवराज ने इंग्लैंड के गेंदबाजी क्रम की धज्जियां बिखेरते हुए अपने करियर का सर्वश्रेष्ठ स्कोर 150 रन बनाया। 35 की उम्र में युवराज भले ही चुस्त खिलाड़ी नहीं बचे हो, जैसे वो पहले हुआ करते थे। लेकिन सीमित ओवरों की क्रिकेट में युवराज जैसे अनुभवी खिलाड़ी की बहुत जरुरत है।