क्रिकेट में आमतौर पर 11वें नंबर के खिलाड़ी टीम के मुख्य गेंदबाज़ होते हैं लेकिन कई बार वो बल्ले से भी धमाल मचाते हैं। साल 1994 में न्यूज़ीलैंड के क्रिकेटर क्रिस प्रिंगल पहले ऐसे 11वें खिलाड़ी बने थे जिन्होंने एक पारी में अपनी टीम की तरफ़ से सबसे ज़्यादा रन बनाए थे। 11वें नंबर के बल्लेबाज़ के लिए ऐसा कारनामा कर पाना आसान नहीं होता है। आमतौर पर मुख्य गेंदबाज़ ही आख़िर में बल्लेबाज़ी करने आते हैं, ऐसे खिलाड़ियों में आक्रामक खेल दिखाने की परंपरा होती है, वो हर गेंद को हिट करने की कोशिश करते हैं जिसकी वजह से अकसर अपना विकेट गंवा बैठते हैं। लेकिन कई मौक़े ऐसे भी हैं जब 11वें नबंर के बल्लेबाज़ ने अपनी विकेट की क़ीमत समझते हुए संभल कर खेला है और अपनी टीम के लिए सबसे ज़्यादा रन बनाए हैं। यहां हम ऐसे ही 5 क्रिकेटर के बारे में बता रहे हैं जिन्होंने एक पारी में अपनी टीम की तरफ़ से नंबर-11 पर खेलते हुए सबसे ज़्यादा रन बनाए। #5 क्रिस प्रिंगल ( न्यूज़ीलैंड) क्रिस्टोफ़र प्रिंगल न्यूज़ीलैंड के पूर्व क्रिकेटर हैं जिनका जन्म ऑकलैंड में हुआ था। उन्होंने साल 1990 से 1995 के बीच कीवी टीम के लिए 14 टेस्ट और 64 वनडे मैच खेले हैं। उन्होंने अपने टेस्ट करियर की शुरुआत 1990/91 में पाकिस्तान के ख़िलाफ़ कराची में की थी। इस मैच में उन्होंने 152 रन देकर 11 विकेट हासिल किए थे, जिसमें पहली पारी में 52 रन देकर 7 विकेट चटकाए थे। साल 1994 में वेस्टइंडीज़ के ख़िलाफ़ गुवाहाटी में खेलते हुए प्रिंगल ने 34 रन की पारी खेली थे। ये वनडे क्रिकेट इतिहास में पहला ऐसा मौक़ा था जब किसी 11वें नंबर के बल्लेबाज़ ने अपनी टीम की तरफ़ से सबसे ज़्यादा रन बनाए थे। इस मैच में न्यूज़ीलैंड का कुल स्कोर 171/9 था। हांलाकि कीवी टीम ये मैच 165 रन से हार गई थी, लेकिन प्रिंगल ने डियॉन नैश के साथ मिलकर आख़िरी विकेट के लिए 48 रन की साझेदारी की थी। #4 पीटर ओनगोंडो (केन्या) पीटर ओनगोंडो दाएं हाथ के मध्यम गति के गेंदबाज़ थे और वो निचले क्रम में बल्लेबाज़ी करते हुए तेज़ शॉट लगाते थे। उन्होंने अपने वनडे करियर की शुरुआत साल 1999 में दक्षिण अफ़्रीका के ख़िलाफ़ की थी। पहले मैच में खेलने के बाद उन्हें केन्याई टीम में वापसी के लिए 2 साल का लंबा इंतज़ार करना पड़ा था। टीम में उनकी वापसी यादगार रही थी, नैरोबी के मैदान में खेलते हुए उन्होंने वेस्टइंडीज़ के ख़िलाफ 36 रन की पारी खेली थी। इस मैच में उन्होंने जिमी कामांडे के साथ मिलकर आख़िरी विकेट के लिए 56 रन की साझेदारी निभाई थी। लेकिन उनकी ये मेहनत टीम के लिए काम न आ पाई थी, वेस्टइंडीज़ ये मैच 6 विकेट से जीत गया था। #3 शेन बॉन्ड (न्यूज़ीलैंड) शेन बॉन्ड न्यूज़ीलैंड के पूर्व क्रिकेटर हैं जिनको सर रिचर्ड हेडली के बाद सबसे बेहतर कीवी गेंदबाज़ के तौर पर जाना जाता है। उन्होंने अपने वनडे करियर की शुरुआत एक त्रिकोणीय सीरीज़ से की थी जिसमें कंगारू और प्रोटियाज़ भी शामिल थे। इस सीरीज़ में उन्होंने 9 मैच में 21 विकेट हासिल किए थे। इस प्रदर्शन की बदौलत उनको 'मैन ऑफ द सीरीज़' से नवाज़ा गया था। उनका सबसे बेहतरीन प्रदर्शन 6/19 था, ये कारनामा उन्होंने साल 2005 में भारत के खिलाफ़ किया था। राहुल द्रविड़, सौरव गांगुली और वीरेंदर सहवाग भी बॉन्ड की गेंदबाज़ी का शिकार बने थे। 2002 की आईसीसी चैंपियंस ट्रॉफ़ी में ऑस्ट्रेलिया के ख़िलाफ़ खेलते हुए शेन बॉन्ड विश्व के तीसरे ऐसे 11वें बल्लेबाज़ बने थे, जिन्होंने मैच में अपनी टीम की तरफ़ से सबसे ज़्यादा रन बनाए हों। उन्होंने आख़िर में बल्लेबाज़ी करते हुए 26 रन बनाए थे। इस मैच में कीवी टीम 297 रन के लक्ष्य का पीछा करते हुए कंगारुओं से 164 रन से हार गई थी। #2 शोएब अख़्तर (पाकिस्तान) ‘रावलपिंडी एक्सप्रेस’ के नाम से मश्हूर शोएब अख़्तर विश्व के अब तक के सबसे तेज़ गेंदबाज़ हैं। उन्होंने 2003 के विश्व कप में इंग्लैंड के ख़िलाफ़ सबसे तेज़ गेंद फेंकी थी, इस गेंद की स्पीड 161.3 किलोमीटर प्रति घंटा थी जो आज तक एक विश्व रिकॉर्ड है। वो विश्व के एकमात्र ऐसे गेंदबाज़ हैं जिन्होंने अंतरराष्ट्रीय मैच में 2 बार 100 मील प्रति घंटा की रफ़्तार से गेंद फेंकी हो। शोएब अख़्तर और सक़लैन मुश्ताक़ ने 2003 विश्व कप में इंग्लैंड के साथ खेले गए केपटाउन वनडे में आख़िरी विकेट के लिए 54 रन की साझेदारी की थी। इस साझेदारी के बावजूद पाकिस्तान ये मैच 112 रन से हार गया था, शोएब ने उस मैच में 43 रन बनाए थे। #1 मोहम्मद आमिर (पाकिस्तान) मोहम्मद आमिर बाएं हाथ के मध्यम गति के तेज़ गेंदबाज़ हैं जिन्होंने अपने अंतरराष्ट्रीय करियर की शुरुआत 2009 के आईसीसी वर्ल्ड टी-20 टूर्नामेंट से की थी। 2010 के आईसीसी वर्ल्ड टी-20 में उनके एक ओवर में ऑस्ट्रेलिया के 5 खिलाड़ी आउट हो गए थे। जिसमें 1 कैच आउट, 2 बोल्ड आउट और 2 रन आउट शामिल थे। ये क्रिकेट इतिहास का एकमात्र ऐसा मौक़ा था जब किसी एक ओवर में 5 बल्लेबाज़ आउट हुए हों। मोहम्मद आमिर के नाम 11वें नंबर पर बल्लेबाज़ी करते हुए अपनी टीम के लिए सबसे ज़्यादा रन बनाने का विश्व रिकॉर्ड हैं। उन्होंने इंग्लैंड के ख़िलाफ़ आख़िर में बल्लेबाज़ी करते हुए 58 रन की पारी खेली थे। इस मैच में पाकिस्तान को जीत के लिए 445 रन का लक्ष्य मिला था, लेकिन पाकिस्तान टीम ये मैच 169 रन से हार गई थी। इस मैच में पाकिस्तान की तरफ़ से मोहम्मद आमिर और शरजिल ख़ान दोनों ने ही सबसे ज़्यादा 58 रन बनाए थे। यासिर शाह और आमिर ने आख़िरी विकेट के लिए 76 रन की साझेदारी की थी, लेकिन पाक टीम ये मैच जीत नहीं सकी थी। लेखक: निखिल गौतम अनुवादक: शारिकुल होदा