1985 में इंग्लैंड चौथे टेस्ट के बाद श्रृंखला पर कब्जा करता दिख रहा था , क्यूंकि श्रृंखला 1-1 पर स्तर पर थी। केंट से आये एक मजबूत शरीर वाले तेज गेंदबाज रिचर्ड एलिसन ने खुद के लिये बहुत भरोसा नहीं बनाया था, जब उन्हें 1985 के पांचवें एशेज टेस्ट, के लिये बुलाया गया और वह भी यह देखते हुए कि उन्होंने पिछले 5 टेस्ट मैचों में केवल 10 विकेट लिए हैं (जिनमे 4 पारियों में उनके विकेट भी नहीं आये थे)। आखिरी दो टेस्ट एलिसन के लिए एशेज नायक बनने के लिए पर्याप्त थे। एजबस्टन में पांचवें टेस्ट में, उनके 6/77 ने ऑस्ट्रेलिया को 335 रनों पर समेटने में योगदान दिया था। दूसरी पारी में, वह फिर ऑस्ट्रेलिया पर भारी पड़े और 4/27 विकेट ले मेहमानों को 142 पर निपटाया। सिर्फ इतना ही नही था - ओवल में अंतिम टेस्ट में, एलिसन के आकड़े 2/35 और 5/46 रहे थे और उनकी दूसरी पारी की गेंदबाज़ी के चलते इंग्लैंड ने सिर्फ 129 पर ऑस्ट्रेलिया को समेटा था, और इंग्लैंड ने एक और श्रृंखला जीत के साथ एशेज को हासिल किया। एलिसन ने श्रृंखला में 17 विकेट लिए (पांचवें स्थान पर) और विपक्षी कप्तान एलन बॉर्डर को चार पारियों में तीन बार आउट किया। एलिसन के शामिल होने के कारण इंग्लैंड के गेंदबाजी आक्रमण को एक नया जीवन मिला था, क्यूंकि उन्होंने 1985 की एशेज को जीतने में मदद की।