भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) ने अगले पांच वर्ष के लिए आईपीएल टाइटल स्पोंसरशिप की तलाश शुरू कर दी है। इसके लिए 2022 तक का समयकाल निर्धारित किया गया है। बोर्ड ने इसकी नीलामी प्रक्रिया और बोली लगाने के लिए आवेदन आमंत्रित किये हैं। जो फर्म बोली लगाने की शर्तों को पूरा करने में कामयाब हो जाएगी, उसे 2022 तक आईपीएल का टाइटल स्पोंसर अधिकार मिलेगा। चीन की मोबाइल निर्माता कम्पनी विवो ने सबसे अधिक बोली लगाकर 2016 और 2017 के संस्करण के लिए टाइटल अधिकार प्राप्त किये थे। उनसे पहले कोल्ड ड्रिंक बनाने वाली कम्पनी पेप्सी ने 396.8 करोड़ रूपये की बोली लगाकर इस टी20 टूर्नामेंट के टाइटल अधिकार खरीदे थे। भारती एयरटेल ने पांच में से 3 वर्ष तक डील पूरी की थी। रियल एस्टेट कम्पनी डीएलएफ ने आईपीएल में सबसे पहले टाइटल अधिकार खरीदा था। उन्हें 2008 में पांच वर्षों के लिए ये अधिकार मिले। टेंडर के लिए आमंत्रण 3 लाख की राशि में दिए जाने हैं, जो 1 जून से 21 जून के बीच बीसीसीआई के मुंबई स्थित हेडक्वार्टर से मिलेंगे। आवेदनों को 27 जून को दोपहर तक जमा कराना होगा। बिड के लिए राशि नॉन-रिफंडेबल होगी। इसके स्थान के बारे में कागजातों से मालूम किया जा सकेगा, इसके अलावा फाइनल स्थान के लिए बोर्ड बदलाव भी कर सकता है। अगर ऐसा होता है, तो बोर्ड बिडिंग में हिस्सा लेने वाली तमाम पार्टियों को बताएगा। बीसीसीआई के पास बोली प्रक्रिया को निरस्त करने और बदलने का अधिकार भी मौजूद है। गौरतलब है कि टाइटल स्पोंसर के अलावा भी 2018 में आइपीएल में कई बदलाव होने वाले हैं। राइजिंग पुणे सुपरजायंट और गुजरात लायंस जैसी टीमों के स्थान पर दो पुरानी टीमें वापस शामिल होंगी। राजस्थान रॉयल्स और चेन्नई सुपरकिंग्स की टीमें वापसी करेगी. कई खिलाड़ियों के टीमों में इधर-उधर होने से फैन्स को भी अपनी पसंदीदा टीमों का चुनाव नए सिरे से करना होगा। फ़िलहाल नए टाइटल स्पोंसर की तरफ सभी का ध्यान है, जिसका पता समय आने पर लग पाएगा।