पूर्व भारतीय कप्तान सौरव गांगुली आज 45 साल के हो गये हैं। 1996 में इंग्लैंड के खिलाफ शतक के साथ अपने टेस्ट करियर की शुरुआत करने वाले गांगुली को क्रिकेट प्रेमी 'दादा' नाम से बुलाते हैं। उन्होंने भारत के लिए 49 टेस्ट और 147 एकदिवसीय मैचों में कप्तानी सम्भाली। भारतीय क्रिकेट को फिक्सिंग के बाद उभारना हो या फिर टीम को विदेशी सरजमीं पर जीत दिलाना, दादा ने अपनी कप्तानी में यह करके दिया। दादा की कप्तानी में विदेश में खेले 28 मैचों में टीम ने 11 में जीत हासिल की। महेंद्र सिंह धोनी से पहले तक सौरव गांगुली को भारत का सर्वश्रेष्ठ कप्तान कहा जाता था। कुछ मामलों में धोनी जरुर उनसे आगे निकल गये हैं, लेकिन आज भी दादा का रुतबा कम नहीं हुआ है। दादा ने अपनी कप्तानी में कई युवाओं पर भरोसा दिखाया जिसमें युवराज सिंह, वीरेंदर सहवाग, हरभजन सिंह, महेंद्र सिंह धोनी जैसे खिलाड़ी शामिल हैं। इस खिलाड़ियों ने भारतीय टीम के लिए जो योगदान दिया है उसमें गांगुली के इस पर भरोसे का भी बहुत बड़ा योगदान है। कप्तानी से साथ-साथ बल्लेबाजी में भी गांगुली का कोई जोड़ नहीं था। गांगुली ने 113 टेस्ट मैचों में 42.17 के औसत से 7,212 रन बनाए जबकि वनडे में 311 मैचों में गांगुली ने 11,363 रन बनाए। गांगुली के ऑफ-साइड शॉट और स्पिनर के खिलाफ कदमों का इस्तेमाल कर मिडविकेट पर मारा छक्का आज भी खेल प्रेमी नहीं भूल पाए हैं। पूर्व खिलाड़ियों और प्रशंसकों ने दादा को उनके जन्मदिन पर सोशल मीडिया के जरिये बधाई दी।