मौजूदा समय में विश्व क्रिकेट में अगर सबसे ज़्यादा कोई चर्चा चल रही है तो वो है भारतीय टीम के कोच पद की। लंबे समय से चल रही ये चर्चा आखिरकार अनिल कुंबले के चयन पर जाकर ख़त्म हुई। बीसीसीआई द्वारा कुंबले को भारतीय कोच पद के लिए चुना गया है। कुंबले के अलावा और भी कई भारतीय दिग्गज क्रिकेटर इस दौड़ में शामिल थे जिसमें रॉबिन सिंह, संदीप पाटिल, वेंकटेश प्रसाद और रवि शास्त्री के नाम प्रमुख थे। मगर एक नाम जो बीसीसीआई अध्यक्ष अनुराग ठाकुर को सबसे बेहतर लग रहा था, वो नाम था भारत के दिग्गज बल्लेबाज़ राहुल द्रविड़ का। भारत के नए कोच की चुनाव प्रक्रिया बिल्कुल साफ-सुथरी और पारदर्शक तरीके से हुई। 57 उम्मीदवारों ने इस पद के लिए आवेदन दिया था, जिसमें से 21 को शॉर्टलिस्ट किया गया। इसके बाद कोलकाता में क्रिकेट सलाहकार समिति ने उनका एक इंटरव्यू लिया और फिर बीसीसीआई को उस पर टिप्पणी दे दी गई। दिलचस्प बात ये है कि बीसीसीआई अध्यक्ष अनुराग ठाकुर ने गुरुवार को कहा कि बोर्ड की पहली पसंद राहुल द्रविड़ थे और अगर वह इसे स्वीकार कर लेते तो ये सारी प्रक्रियाएं नहीं होती। पर उन्होंने हां नहीं कहा। मीडिया से बात करते हुए बीसीसीआई अध्यक्ष और बीजेपी सांसद अनुराग ठाकुर ने कहा “ मैंने द्रविड़ से निवेदन किया था कि वो भारतीय टीम को कोच करें, उन्होंने ना नहीं कहा। उनका कहना था कि मैं जूनियर टीम के लिए काम करना चाहता हूँ। मुझे ये देख कर बहुत अच्छा लगा कि वह सीनियर टीम और अधिक पैसे की तरफ आकर्षित नहीं हुए”। साथ ही साथ ठाकुर ने द्रविड़ के इंकार की मीडिया को वजह बताते हुए कहा “द्रविड़ का कहना है कि मैं छोटे कार्यकाल में काम करना पसंद करता हूँ, मैं अपने घर और परिवार से लंबे समय तक दूर नहीं रह सकता इसलिए छोटे कार्यकाल में काम करना ही मुझे पसंद है”। कुंबले के चयन के बाद सभी दिग्गज खिलाड़ियों ने बीसीसीआई के पारदर्शी चयन प्रक्रिया की सराहना भी की है।