अनिश्चित्ताओं से भरे क्रिकेट का नज़ारा हाल में ही यूरोप में देखने को मिला, जब वनडे में 13वीं रैंक की टीम स्कॉटलैंड ने टॉप टीम इंग्लैंड को हरा दिया। इंग्लैंड की ये हार हर तरफ़ चर्चा का विषय बन गई। इंग्लैंड में मौजूद शानदार बल्लेबाज़ों के बावजूद स्कॉटिश टीम ने यादगार जीत हासिल की। स्कॉटलैंड के कैलम मैक्लॉड को मैन ऑफ़ द मैच अवॉर्ड से नवाज़ा गया क्योंकि उन्होंने शानदार 140 रन की पारी खेली थी। वनडे क्रिकेट के इतिहास में ऐसे कई मौके आए हैं जब एसोसिएट देशों के बल्लेबाज़ों ने टेस्ट दर्जा प्राप्त देशों के गेंदबाज़ों को धूल चटाई है। हम यहां ऐसे ही 5 पारियों को लेकर चर्चा करेंगे जो एसोसिएट देशों के बल्लेबाज़ों द्वारा खेली गई है।
जॉन डेविसन 111(76) बनाम वेस्टइंडीज़, सेंचुरियन, 2003
2003 के वर्ल्ड कप में कनाडा के जॉन डेविसन ने तहलका मचा दिया था। सेंचुरियन के मैदान में वेस्टइंडीज़ ने टॉस जीतकर कनाडा को पहले बल्लेबाज़ी का मौका दिया था। बैटिंग करने आए जॉन डेविसन ने गेंद को बाउंड्री के पार पहुंचाना शुरू कर दिया। उस दिन डेविसन को रोक पाना मुश्किल हो रहा था। उन्होंने अपना अर्धशतक महज़ 30 गेंदों में पूरा कर लिया था। कुल 67 गेंदों में उन्होंने शतक भी जमा लिया था। ये उस वक़्त वर्ल्ड कप का सबसे तेज़ शतक था। डेविसन ने 76 गेंदों में 111 रन बनाए थे। हांलाकि कनाडा ये मैच हार गई थी, लेकिन डेविसन ती ये पारी इतिहास में दर्ज हो गई।
रेयान टेन डोएशे 119(110) बनाम इंग्लैंड, नागपुर, 2011
रेयान टेन डोएशे को नीदरलैंड्स की तरफ़ से साल 2011 का वर्ल्ड कप खेलने का मौका मिला था। यहां वो अपेने पड़ोसी मुल्क इंग्लैंड के ख़िलाफ़ खेल रहे थे, जहां उन्होंने अपनी ताक़त का प्रदर्शन किया था। नागपुर की चुभती गर्मी भी डोएशे के इरादे को तोड़ नहीं पाई। उस मैच में वो 12वें ओवर में बल्लेबाज़ी करने आए थे और 49वें ओवर में आउट हुए थे। इस दौरान उन्होंने 110 गेंदों में 119 रन की पारी खेली थी। इस मैच में डोएशे ने अच्छी गेंदबाज़ी करते हुए 47 रन देकर 2 विकेट भी हासिल किए थे। हांलाकि डोएशे की ये कोशिश बेकार गई और इंग्लैंड ने 296 रन के लक्ष्य को हासिल कर लिया। डोएशे ने इसी वर्ल्ड कप में कोलकाता में आयरलैंड के ख़िलाफ़ 106 रन की पारी खेली थी।
डेव हॉटन 142(137) बनाम न्यूज़ीलैंड, हैदराबाद, 1987
साल 1987 के वर्ल्ड कप में ज़िम्बाब्वे ने एसोसिएट देश के तौर पर हिस्सा लिया था। इस टीम ने 1992 में अपना पहला टेस्ट मैच खेला था। 1987 के वर्ल्ड कप में डेव हॉटन ने न्यूज़ीलैंड के ख़िलाफ़ ऐसी पारी खेली थी जो हमेशा याद की जाएगी। हैदराबाद के गर्म मौसम में ज़िम्बाब्वे को 243 रन का पीछा करना था। इस अफ़्रीकी टीम का स्कोर जब 104 रन था तब उसके 7 विकेट गिर चुके थे। ज़िम्बाब्वे के विकेटकीपर डेव हॉटन ने अपने कंधों पर ज़िम्मेदारी ली और मैच को ज़िंदा रखा। उन्होंने 137 गेंदों में 142 रन की पारी खेली जिसमें 13 चौके और 6 छक्के शामिल थे। डेव उस वक़्त आउट हुए जब उनकी टीम को जीत के लिए 22 रन की ज़रूरत थी। डेव की कोशिशों के बावजूद ज़िम्बाब्वे ये मैच 4 रन से हार गई थी।
काइल कोएटज़र 156(134) बनाम बांग्लादेश , नेलसन, 2015
हाल में ही कैलम मैक्लॉड ने इंग्लैंड के ख़िलाफ़ 140 रन की पारी खेली है, लेकिन ये एसोसिएट देश के बल्लेबाज़ की तरफ़ से टेस्ट दर्जा प्राप्त टीम के ख़िलाफ़ बनाया गया सबसे बड़ा स्कोर नहीं हैं। ये रिकॉर्ड स्कॉटलैंड के काइल कोएटज़र के नाम है। काइल को साल 2015 में वर्ल्ड कप खेलने का मौका मिला था। बांग्लादेश के ख़िलाफ़ स्कॉटलैंड को पहले बल्लेबाज़ी करने का मौका मला था। एक वक़्त स्कॉटिश टीम ने 3 विकेट खोकर 116 रन बना लिए थे। ओपनर काइल कोएटज़र ने कप्तान प्रेस्टन मॉमसेन के साथ मिलकर पारी को आगे बढ़ाया। स्कॉटिश टीम ने 50 ओवर में 8 विकेट खोकर 318 रन बना लिए। काइल ने 156 रन की पारी खेली। हांलाकि बांग्लादेश ने इस बड़े लक्ष्य का पीछा 11 गेंद शेष रहते कर लिया था।
केविन ओ ब्रायन 113*(63) बनाम इंग्लैंड, बैंगलोर, 2011
आयरलैंड के केविन ओ ब्रायन ने साल 2011 के वर्ल्ड कप में इंग्लैंड के ख़िलाफ़ विस्फोटक बल्लेबाज़ी करते हुए सबको हैरान कर दिया था। चिन्नास्वामी स्टेडियम में ग्रुप बी के मैच में इंग्लैंड ने पहले बल्लेबाज़ी करते हुए 8 विकेट खोकर 327 रन बनाए थे। इसके जवाब में आयरलैंड की शुरुआत ख़राब रही, उसने अपने 5 विकेट 111 रन पर खो दिए थे। इसके बाद केविन ओ ब्रायन ने बल्लेबाज़ों के लिए मददगार पिच पर अपना हुनर दिखाना शुरू किया। उन्होंने महज़ 50 गेंदों में अपना शतक पूरा किया, जो वर्ल्ड कप में अब तक का सबसे तेज़ शतक है। केविन ने इस मैच में 13 चौके और 6 छक्कों की मदद से 63 गेंद में 113 रन बनाए थे। आयरलैंड ने इस मैच में जीत हासिल की थी। लेखक- ओमकार मानकामे अनुवादक- शारिक़ुल होदा