भारतीय टीम (Indian Cricket Team) के मिडिल ऑर्डर के बल्लेबाज हनुमा विहारी (Hanuma Vihari) ने अपने डिफेंसिव स्टाइल की बल्लेबाजी को लेकर बड़ी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने कहा है कि वो अपना विकेट सस्ते में नहीं गंवाना चाहते हैं और इसी वजह से काफी संभलकर बल्लेबाजी करते हैं।
हनुमा विहारी की अगर बात करें तो वो क्रीज पर टिकने के लिए जाने जाते हैं। डोमेस्टिक क्रिकेट से ही वो काफी डिफेंसिव बल्लेबाजी करते रहे हैं। पिछले कुछ साल से वो इंडियन टीम का भी हिस्सा हैं, जहां उन्होंने बैकअप मिडिल ऑर्डर बल्लेबाज के तौर पर खेला है।
अपने डिफेंसिव तकनीक की वजह से ही हनुमा विहारी को विदेशी दौरों के लिए इंडियन टीम में जगह मिली। 15 टेस्ट मैचों में 12 मुकाबले उन्होंने विदेशों में खेले हैं। हनुमा विहारी की खास बात ये है कि वो क्रीज पर लंबा वक्त बिताते हैं और बेहतरीन तरीके से डिफेंस करते हैं।
मैं शुरू से ही इसी तरह से बल्लेबाजी करते आया हूं - हनुमा विहारी
उन्होंने अपने इस डिफेंसिव एप्रोच को लेकर बड़ी प्रतिक्रिया दी है। न्यू इंडियन एक्सप्रेस से बातचीत में उन्होंने कहा, 'मैं काफी समय से इसी तरह से खेल रहा हूं। मैं शुरूआती दिनों से ही इसी तरह से बल्लेबाजी कर रहा हूं और अब मेरी ये आदत बन गई है। मैं अपना विकेट नहीं फेंकना चाहता हूं। ये एक ऐसी चीज है जिस पर मैं गर्व महसूस करता हूं। मैं अपना विकेट आसानी से नहीं फेंकता हूं। निश्चित तौर पर आप अच्छी गेंद के खिलाफ कम स्कोर पर आउट हो सकते हैं लेकिन अपना विकेट नहीं फेंक सकते हैं।'
उन्होंने आगे कहा 'जब आपका माइंडसेट सही नहीं होता है या फिर आप अच्छे फ्रेम में नहीं होते हैं तो फिर मैं निराश हो जाता हूं। हालांकि सिडनी की पारी मेरे लिए टर्निंग प्वॉइंट थी। मैंने उस सीरीज में ज्यादा रन नहीं बनाए थे लेकिन उस पारी की वजह से मेरा आत्मविश्वास वापस आ गया।'