भारतीय टीम मैनेजमेंट ने इंदौर टेस्ट मुकाबले (IND vs AUS) में अपने प्रमुख तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी (Mohammed Shami) को आराम दिया था और उनके इस फैसले की काफी आलोचना भी हुई। ऐसा इसलिए हुआ क्योंकि सीरीज में ज्यादातर गेंदबाजी स्पिन गेंदबाजों ने ही की थी, इसीलिये शमी को आराम देने का फैसला समझ से परे था। हालाँकि, भारतीय गेंदबाजी कोच पारस महाम्ब्रे ने शमी को आराम दिए जाने के फैसले का समर्थन किया। उन्होंने कहा कि आगामी चुनौतियों को ध्यान में रखते हुए, उन्हें गेंदबाजों के वर्कलोड को ध्यान में रखने की जरूरत है।
मोहम्मद शमी ने सीरीज के शुरुआत दो मुकाबलों में प्रभावशाली गेंदबाजी की थी लेकिन तीसरे टेस्ट में टीम मैनेजमेंट ने उन्हें ब्रेक दिया। इस मुकाबले में भारतीय टीम को ऑस्ट्रेलिया ने 9 विकेट के बड़े अंतर से हराया था। हालाँकि, चौथे टेस्ट में उनकी वापसी हुई और पहले दिन उन्होंने दो विकेट चटकाए। उन्होंने मार्नस लैबुशेन और पीटर हैंड्सकॉम्ब के रूप में दो प्रमुख बल्लेबाजों को सस्ते में आउट किया।
अहमदाबाद में पहले दिन के खेल के बाद, गेंदबाज कोच से शानदार फॉर्म में चल रहे मोहम्मद शमी को आराम दिए जाने के फैसले के बारे में पूछा गया। पारस महाम्ब्रे ने जवाब देते हुए कहा,
आपको निर्णय लेना होगा। हम व्यक्तिगत गेंदबाजों के वर्कलोड को भी देखते हैं। शमी ने काफी गेंदबाजी की है। उन्हें वह ब्रेक देने की जरूरत थी। यह उमेश यादव जैसे खिलाड़ी के पास भी मैच खेलने का मौका था। इस सीरीज के बाद वर्ल्ड टेस्ट चैंपियनशिप है। आपको इस पर भी ध्यान देने की जरूरत है। आपको कई बार गेंदबाजों को रोटेट करना होता है। यह खिलाड़ियों के लिए भी महत्वपूर्ण है।
बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में मोहम्मद शमी ने की है शानदार गेंदबाजी
मोहम्मद शमी ने मौजूदा बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी में तीन मुकाबलों में खेलते हुए 18.44 की औसत से 11 विकेट (अहमदाबाद टेस्ट में पहले दिन के खेल के बाद) अपने नाम किये हैं। एक पारी में उनका सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 60 रन देकर चार विकेट लेना है। अभी ऑस्ट्रेलिया के पहली पारी में छह विकेट और दूसरी पारी बाकी है। शमी निश्चित तौर पर अपने आंकड़ों को और बेहतर करना चाहेंगे।