श्रीलंका (Sri Lanka) के खिलाफ भारतीय टीम (Indian Team) ने टी20 सीरीज में क्लीन स्वीप कर दिया और इसका क्रेडिट श्रेयर अय्यर को जाना चाहिए। अय्यर ने तीनों मुकाबलों में अर्धशतक जड़े और आउट भी नहीं हुए। इस मैच में उनको प्लेयर ऑफ़ द मैच के अलावा सीरीज का बेस्ट खिलाड़ी भी चुना गया। इसके बाद उन्होंने कुछ अहम बातों का जिक्र किया।
श्रेयस अय्यर ने कहा कि तीनों पारियां विशेष थीं लेकिन कल मैं अहम क्षण में आया और इसे मैं चुनना चाहूँगा। जब तक आप गेंद पर नज़रें गड़ाकर मेरिट के हिसाब से खेलते हैं तो फॉर्म में आने के लिए सिर्फ एक गेंद की आवश्यकता होती है। कल की तुलना में आज का विकेट दोहरी गति का था। मैंने मेरिट के हिसाब से खेल रहा था। आउटफील्ड इतनी तेज है कि बस गेंद को गैप में खेलना था। मेरी चोट के बाद यह एक रोलरकॉस्टर सफर रहा है। असली परीक्षा रिहैब सेशन के दौरान होती है।
भारत के लिए दो विकेट हासिल करने वाले आवेश खान ने कहा कि विकेट से मदद थी। गेंद को सही लाइन और लेंथ पर डालना था। वेस्टइंडीज के खिलाफ मुश्किलों को लेकर कहा कि वहां पॉपिंग क्रीज में फिसलन थी। यहाँ मुझे अनुशासित रहने की ज़रूरत थी।
गौरतलब है कि श्रेयस अय्यर ने कोलकाता में खेले गए पहले मुकाबले में नाबाद 57 रनों की पारी खेली थी। इसके बाद उन्होंने धर्मशाला में खेले गए दूसरे मैच में नाबाद 74 और अंतिम मैच में नाबाद 73 रन बनाए। सीरीज के तीन मुकाबलों में अय्यर ने 204 रन बनाए। इस दौरान मेहमान टीम के गेंदबाज उनको एक बार भी आउट नहीं कर पाए।
तीसरे टी20 मुकाबले में श्रीलंकाई कप्तान ने टॉस जीतकर पहले बल्लेबाजी चुनी और 5 विकेट पर 146 रनों का स्कोर खड़ा किया। जवाब में खेलते हुए भारतीय टीम में सत्रहवें ओवर में 4 विकेट पर इस लक्ष्य को हासिल कर लिया।