जहीर खान जहीर खान को भारतीय गेंदबाजी का सचिन तेंदुलकर माना जाता है। जवागल श्रीनाथ और वेंकटेश प्रसाद के बाद जहीर खान ने अकेले भारतीय तेज गेंदबाजी की अगुवाई की। इस दौरान उन्होंने कई सारे गेंदबाजों के साथ गेंदबाजी की। हालांकि ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ उस सीरीज में उन्हें ज्यादा सफलता नहीं मिली। 4 टेस्ट मैचों में वो मात्र 10 विकेट ही निकाल सके। नागपुर टेस्ट में उन्होंने 6 विकेट चटकाए फिर भी भारतीय टीम वो मैच बुरी तरह हार गई। हरभजन सिंह 2001 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ सीरीज में बल्लेबाजी में जहां वीवीएस लक्ष्मण ने कंगारु टीम को परेशान किया तो गेंदबाजी में हरभजन सिंह ने ऑस्ट्रेलियाई टीम की नाक में दम कर दिया। 2000 के शुरुआत में उन्होंने कई मैच अपने दम पर जिताए। 2004 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ उस सीरीज में हरभजन सिंह खासे सफल रहे। 4 टेस्ट मैचों में उन्होंने 22 विकेट चटकाए। बैंगलोर टेस्ट में उन्होंने दोनों ही पारियों में 5 विकेट निकाले फिर भी भारतीय टीम 217 रनों से मैच हार गई। अनिल कुंबले भारत के सबसे सफल गेंदबाज और वर्तमान भारतीय टीम के कोच। 1990 में अनिल कुंबले ने अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट में डेब्यू किया। 2004 तक वो भारत के सबसे सफल स्पिनर बन सके थे। भारतीय क्रिकेट में हरभजन सिंह के साथ उनकी जोड़ी सबसे सफल जोड़ी रही। सालों तक इस जोड़ी ने भारतीय टीम को कई मैच जिताए। 2004 की उस सीरीज में कुंबले ने हरभजन सिंह से बेहतर गेंदबाजी की और कुल मिलाकर 27 विकेट चटकाए। चेन्नई टेस्ट में कुंबले ने 13 विकेट चटकाए फिर भी भारतीय टीम मैच जीत नहीं सकी और मैच ड्रॉ हो गया। लेखक-कुशल राज अनुवादक-सावन गुप्ता