ड्वेन ब्रावो के टूर्नामेंट से बाहर होने से गुजरात टीम को ये पता था कि अगर टीम को प्लेऑफ में पहुंचना है तो टीम के बाकी गेंदबाज़ों को कंधो पर जिम्मेदारी लेनी होगी लेकिन दुर्भाग्य की बात ये रही की ऐसा बिलकुल नहीं हुआ और आईपीएल 2016 में लायंस के लिए सबसे ज्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज़ का भी फ्लॉफ शो दिखा। धवल कुलकर्णी जिन्होंने आईपीएल 2016 में 7.5 से भी कम इकॉनॉमी रेट से 18 विकेट झटके थे इस बार 6 मुकाबलों में सिर्फ 3 विकेट ही ले सके। रविंद्र जडेजा पूरे सीज़न में सिर्फ 5 विकेट ही लेने में सफल रहे , इसके अलावा प्रदीप सांगवान, प्रवीण कुमार, अंकित सोनी हर किसी तो अलग अलग मौकों पर जगह दी गई लेकिन प्रभाव छोड़ने में कोई सफल नहीं रहा। जेम्स फॉकनर ने भी निराशाजनक प्रदर्शन किया हालांकि चमक बिखेरने वाले एंड्रयू टाई भी चोटिल होकर बाहर हो गए लेकिन केरला के 23 साल के बासिल थंपी ने प्रभाव छोड़ा और 12 मुकाबलों ने 11 विकेट झटके, लेकिन आप ये जानते हैं कि तो आपका क्या हाल होगा जब आप उस खिलाड़ी पर निर्भर हैं जो पहले आईपीएल नहीं खेला। टीम में अनुभवी गेंदबाज़ों के होने के बावजूद टीम के कोई काम नहीं आ सका क्योंकि कोई भी गेंदबाज़ लीडर के तौर पर नहीं उभरा । सिर्फ जब तक टाई कहर बरसा रहे थे तब तक लगा कि लायंसजीत हासिल कर सकी है लेकिन दुर्भाग्य से वो चोटिल हो गए और टूर्नामेंट में सिर्फ 6 मैच ही खेल सके।