आईपीएल में हमें कई देसी और विदेशी खिलाड़ियों के खेल में उतार-चढ़ाव देखने को मिलता है। पिछले 10 सालों में हमने सैंकड़ों भारतीय क्रिकेटर्स को इस टूर्नामेंट में खेलते हुए देखा है। इनमें से कुछ ही खिलाड़ी टीम इंडिया के लिए खेल पाए हैं। कई सितारे वक्त के साथ ग़ायब हो गए, तो कई ऐसे खिलाड़ी हैं जिन्हें पहले मौक़े का इंतज़ार है। कई खिलाड़ी आईपीएल के 11वें सीज़न में डेब्यू कर सकते हैं। हर आईपीएल सीज़न में टीम मैनेजनेंट 20-25 खिलाड़ियों का दल तैयार करती है। इनमें से हर किसी को प्लेइंग इलेवन में खेलने का मौक़ा नहीं मिल पाता है, ऐसे खिलाड़ी अपना पूरा सीज़न बेंच पर ही बैठकर बिताते हैं। ऐसे खिलाड़ी यह सोच कर सब्र कर लेते हैं कि वो कम से कम इस टीम का हिस्सा हैं। आईपीएल का स्लोगन है, “यहां हुनर और मौक़े का संगम होता है”। हम यहां ऐसे 5 भारतीय खिलाड़ियों के बारे में बताएंगे जो पिछले 2 सीज़न में किसी टीम का हिस्सा ज़रूर रहे हैं लेकिन उन्हें प्लेइंग इलेवन में शामिल होने का एक भी मौक़ा नहीं मिला।
#5 बाबा अपराजित
साल 2012 के आईसीसी अंडर-19 वर्ल्ड कप में बाबा अपराजित चैंपियन टीम इंडिया के सदस्य थे। उन्होंने अपने प्रदर्शन से युवा भारतीय टीम को ट्राफ़ी दिलाई थी। इस प्रदर्शन की बदौलत उन्हें चेन्नई सुपर किंग्स टीम में शामिल किया गया था, लेकिन वो पीली जर्सी में एक भी मैच खेलने में नाकाम रहे। जब चेन्नई टीम पर 2 साल का बैन लगाया गया तो साल 2016 में बाबा साल 2016 में राइज़िंग पुणे सुपरजायंट टीम में चुने गए। उनका पूरा 2 सीज़न बेंच पर ही बीता, उन्हें आज भी आईपीएल में डेब्यू करने का इंतेज़ार है। बाबा आईपीएल के बेहद बदनसीब खिलाड़ियों में से एक हैं, उन्होंने 5 आईपीएल सीज़न बिना एक मैच खेले ही बिताए हैं।
#4 अरमान जाफ़र
टीम इंडिया के पूर्व सलामी बल्लेबाज़ वसीम जाफ़र के भतीजे अरमान जाफ़र पहली बार तब चर्चा में आए जब उन्होंने कूच बिहार ट्रॉफ़ी में शानदार प्रदर्शन किया था। वो आईसीसी अंडर-19 वर्ल्ड कप 2016 में टीम इंडिया का हिस्सा भी थे, साल 2016 में उन्हें किंग्स-XI पंजाब टीम में शामिल किया गया था। पिछले 2 साल में पंजाब टीम में उन्हें एक मैच भी खेलने का मौक़ा नहीं दिया गया। इस साल की आईपीएल नीलामी में किसी भी टीम के मालिक ने जाफ़र को लेकर दिलचस्पी नहीं दिखाई।
#3 अंकुश बैंस
अंकुश बैंस एक विकेटकीपर बल्लेबाज़ हैं जो रणजी ट्रॉफ़ी में हिमाचल प्रदेश के लिए खेलते हैं। वो साल 2014 के आईसीसी अंडर-19 वर्ल्ड कप में वो टीम इंडिया का हिस्सा थे। साल 2014 के आईपीएल सीज़न में वो राजस्थान रॉयल्स, 2015 में चेन्नई सुपर किंग्स, 2016 और 2017 में राइज़िंग पुणे सुपरजायंट टीम के सदस्य थे। इन 4 सालों में वो आईपीएल का एक भी मैच नहीं खेल पाए। उन्होंने 30 टी-20 मैच में 103 के स्ट्राइक रेट से 538 रन बनाए हैं, जिसमें 3 अर्धशतक शामिल हैं। चूंकि वो घरेलू सर्किट में को प्रभाव नहीं डाल पाए इसलिए इस साल की आईपीएल नीलामी में उन्हें किसी भी टीम ने नहीं ख़रीदा।
#2 सिद्धेश लाड
मुंबई के बल्लेबाज़ सिद्धेश लाड अपनी रणजी टीम के अहम खिलाड़ी हैं। साल 2015 में वो मुंबई इंडियंस टीम में शामिल किए गए थे, तब से लेकर आज तक उन्होंने एक भी आईपीएल मैच नहीं खेला है। उनमें टी-20 खिलाड़ी होने के सारे हुनर मौजूद हैं, लेकिन पिछला 3 सीज़न उन्होंने मैदान के बाहर ही बिताया है। चूंकि मुंबई इंडियंस टीम इतनी मज़बूत है, ऐसे में कई युवा खिलाड़ियों की जगह नहीं बन पाती और वो प्लेइंग-XI का हिस्सा नहीं बन पाते। सिद्धेश को उस दिन का इंतज़ार है जब वो जर्सी पहने कर मैदान में उतरेंगे। मुंबई इंडियंस टीम को उन्हें कम से कम एक मैच में खेलने का मौक़ा देना चाहिए था।
#1 अभिमन्यु मिथुन
कर्नाटक के तेज़ गेंदबाज़ अभिमन्यु मिथुन को साल 2013 के आईपीएल सीज़न में आरसीबी टीम की तरफ़ से आख़िरी आईपीएल मैच खेला था। इसके बाद उन्हें मुंबई इंडियंस टीम में शामिल किया गया। आज वो सनराइज़र्स हैदराबाद टीम का हिस्सा हैं। पिछले 2 सीज़न में वो एक भी मैच खेल पाने में नाकाम रहे। मौजूदा हैदराबाद टीम के पास तेज़ गेंदबाज़ों की कोई कमी नहीं है, ऐसे में मिथुन शायद ही आईपीएल के 11वें सीज़न का कोई मैच खेल पाएं। आईपीएल मैच से लंबी दूरी का असर उनके प्रदर्शन पर भी पड़ सकता है। आईपीएल के 16 मैच में उन्होंने 9.83 की इकॉनमी रेट से 16 विकेट हासिल किए थे। वो टीम इंडिया के लिए 4 टेस्ट और 5 वनडे मैच खेल चुके हैं। लेखक- अथर्व आप्टे अनुवादक- शारिक़ुल होदा