50 दिनों तक चलने वाले इंडियन प्रीमियर लीग का 11 वां संस्करण समाप्त हो गया है। यह सीज़न शायद अब तक का सबसे रोमांचक सीज़न रहा है और हमने कई मैचों में काँटे की टक्कर देखी। चेन्नई सुपर किंग्स का दो साल बाद आईपीएल में लौटकर ख़िताब जीतना सचमुच में अदभुत था। इस सीज़न में जहां कई खिलाड़ियों ने उम्मीद के मुताबिक मैच जिताऊ और गेम चेंजर पारियां खेलीं तो वहीं कुछ खिलाड़ी उम्मीद पर खरा नहीं उतर सके। तो आइये जानते हैं ऐसे पांच खिलाड़ियों के बारे में जिन्होंने अपनी टीम के लिए गेम चेंजर पारियां खेलीं।
किंग्स-XI पंजाब: गेल को टीम में शामिल करना
क्रिस गेल को इस साल आईपीएल नीलामी के अंतिम दिन किंग्स इलेवन पंजाब ने अपनी टीम में शामिल किया था। गेल पहले दो मैचों में टीम से बाहर रहे लेकिन चेन्नई सुपर किंग्स के खिलाफ मैच में उन्होंने वापसी करते हुए 33 गेंदों में शानदार 63 रन बनाए और अगले मैच में सनराइज़र्स हैदराबाद के खिलाफ इस सीज़न का अपना पहला शतक जड़ दिया। कुल मिलाकर गेल ने 11 मैचों में 368 रन बनाए। हालाँकि लीग के आखिरी मैचों में उनके प्रदर्शन में निरंतर गिरावट आती गई जो पंजाब के प्लेऑफ और टूर्नामेंट से बाहर होने की बड़ी वजह बनी। लेकिन उन्होंने अपने प्रदर्शन से यह दिखा दिया कि उनमें अभी बहुत क्रिकेट बची है और वह अकेले दम पर टीम को जिताने का माद्दा रखते हैं।
कृष्णप्पा गोथम का पॉवरप्ले में शानदार प्रदर्शन
राजस्थान रॉयल्स द्वारा 20 लाख आधार मूल्य के खिलाड़ी को 6.20 करोड़ रुपये में खरीदा जाना चौंकाने वाला फैसला था। लेकिन कृष्णप्पा गोथम ने मुंबई इंडियंस के खिलाफ 11 गेंदों में 33 रनों की ताबड़तोड़ पारी खेलकर अपने आलोचकों को करारा जवाब दिया। इसके अलावा कप्तान अजिंक्य रहाणे ने उन्हें गेंद सौंपकर एक मास्टरस्ट्रोक खेला था। पंजाब के खिलाफ एक अहम मुकाबले में गोथम ने पारी के पहले ओवर में सधी हुई गेंदबाज़ी कर विपक्षी बल्लेबाज़ों को बड़ा शॉट खेलने के लिए मजबूर किया और आखिरकार क्रिस गेल का महत्पूर्ण विकेट लेने में सफलता प्राप्त की। केएल राहुल के शानदार प्रदर्शन के बावजूद राजस्थान ने यह मैच पांच रनों से जीता और गोथम इस जीत के नायक बने थे। इसके अलावा टूर्नामेंट में उनका सबसे महत्वपूर्ण विकेट ब्रेंडन मैकुलम का था, जिन्हें गोथम ने पॉवरप्ले में ही आउट किया था।
सूर्यकुमार यादव को शीर्ष क्रम में भेजना
कोलकाता नाइट राइडर्स के पूर्व उप कप्तान, सूर्य कुमार यादव ने इस सीज़न में मुंबई इंडियंस की तरफ से खेलते हुए सलामी बल्लेबाज़ के रूप में शानदार प्रदर्शन किया है। कोलकाता में रहते हुए नंबर 5,6 और 7 पर बल्लेबाज़ी करने वाले सूर्यकुमार को मुंबई ने पारी की शुरुआत करने के लिए भेजा और उन्होंने अपने पर दिखाए भरोसे को टूटने नहीं दिया। इस सीज़न में उन्होंने शानदार 512 रन बनाए और इविन लुईस और रोहित शर्मा जैसे दिग्गज बल्लेबाज़ों से ज़्यादा रन बनाने का मान हासिल किया।
जोस बटलर को ऊपर भेजना
टूर्नामेंट के शुरुआती मैचों में राजस्थान रॉयल्स अंक तालिका में सबसे निचले पायदान पर थे और उनका लीग दौर की समाप्ति पर अंतिम चार में जगह बनाना बहुत मुश्किल लग रहा था लेकिन जोस बटलर को सलामी बल्लेबाज के रूप में पदोन्नत करने के बाद ऐसा ही हुआ। बटलर ने टूर्नामेंट में लगातार पांच अर्धशतक बनाए और इस प्रकार वीरेंद्र सहवाग के रिकॉर्ड की बराबरी की, जो उन्होंने 2012 में बनाया था। इस इंग्लिश बल्लेबाज़ ने शीर्ष क्रम पर बल्लेबाज़ी के लिए भेजे जाने के बाद अपनी टीम को बढ़िया शुरुआत दिलाई। सीज़न के बीच में उन्हें इंग्लिश क्रिकेट टीम में वापिस लौटना पड़ा , जिसका ख़ामिआज़ा राजस्थान को भुगता पड़ा और टीम पहले क्वालीफ़ायर में कोलकाता से हार कर टूर्नामेंट से बाहर हो गई।
अंबाती रायुडू को शीर्ष क्रम में भेजना
अंबाती रायुडू अब तक चार ख़िताब जीतने वाली टीमों का हिस्सा रहे चुके हैं- तीन मुंबई के साथ और एक सीएसके के साथ। मुंबई इंडियंस के लिए उनका प्रदर्शन शानदार था लेकिन इस सीज़न में अपनी नई टीम चेन्नई सुपरकिंग्स के लिए उनका प्रदर्शन लाजवाब था। उन्होंने एम एस धोनी की कप्तानी में बल्लेबाजी क्रम में पद्दोन्नत किये जाने के बाद अपने आईपीएल करियर का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन किया। रायुडू ने पॉवरप्ले का भरपूर फायदा उठाते हुए हर टीम के खिलाफ स्कोर किया। यहां तक कि सनराइज़र्स हैदराबाद जैसी मजबूत टीम के खिलाफ भी शतक जमाया। शेन वाटसन, सुरेश रैना और महेंद्र सिंह धोनी जैसे विश्वस्तरीय बल्लेबाज़ों की टीम में, रायडू अपनी टीम के सर्वाधिक रन स्कोरर (602) रहे। लेखक: ब्रोकेनक्रिकेट अनुवादक: आशीष कुमार