इंडियन प्रीमियर लीग के 12वें संस्करण के लिए 2 टीमें प्लेऑफ में अपनी जगह बना चुकी हैं। ये दोनों टीमें हैं- चेन्नई सुपरकिंग्स और दिल्ली कैपिटल्स। दिल्ली कैपिटल्स के लिए यह काफी खुशी की बात है कि 6 साल बाद उन्होंने प्लेऑफ में अपनी जगह बनाई है। इसी साल दिल्ली डेयरडेविल्स टीम का नाम बदलकर दिल्ली कैपिटल्स रखा गया था।
आखिरकार रिकी पोंटिंग, सौरव गांगुली और मोहम्मद कैफ की तिकड़ी ने अपने शानदार रणनीति के साथ दिल्ली कैपिटल्स को प्लेऑफ तक पहुंचा दिया। इससे पहले वीरेंदर सहवाग की कप्तानी में दिल्ली डेयरडेविल्स (अब दिल्ली कैपिटल्स) ने वर्ष 2012 में प्लेऑफ में क्वालीफाई किया था। उस वक्त प्लेऑफ में क्वालिफायर मुकाबले में कोलकाता नाइटराइडर्स के खिलाफ और एलिमिनेटर मुकाबले में चेन्नई सुपरकिंग्स के खिलाफ हार का सामना करना पड़ा था। जिसके बाद उनका खिताब जीतने का सपना टूट गया था।
आज हम आपको बताएंगे क्यों दिल्ली कैपिटल्स की टीम इस सीजन काफी जबरदस्त टीम रही है।
#3. शीर्ष 4 बल्लेबाजों का शानदार प्रदर्शन:
दिल्ली कैपिटल्स की सफलता का सबसे बड़ा राज उनके शीर्ष 4 शानदार बल्लेबाज हैं, जिन्होंने इस सीजन शानदार प्रदर्शन किया है। जहां एक ओर पृथ्वी शॉ ने इस इस सीजन 99 रनों की सबसे बड़ी पारी खेली है, वहीं शिखर धवन ने 97 रनों की नाबाद पारी खेली है। श्रेयस अय्यर ने भी कुछ मैचों में जबरदस्त प्रदर्शन किया है। लेकिन इस टीम के लिए जो तुरुप का इक्का है वह हैं ऋषभ पंत। ऋषभ पंत दिल्ली के लिए हार्ड हिटर बल्लेबाज के रूप में हैं वैसा ही काम करते आये हैं जैसे आंद्रे रसेल और हार्दिक पांड्या ने अपनी-अपनी टीमों के लिए इस सीजन किया है।
ऋषभ पंत ने इस सीजन पहले ही मैच में मुंबई के खिलाफ 27 गेंदों पर 78 रनों की पारी खेली थी। जबकि राजस्थान के खिलाफ भी उन्होंने 36 गेंदों पर 78 रनों की पारी खेली थी।
इस सीजन शिखर धवन ने 451 रन, पृथ्वी शॉ ने 280 रन, श्रेयस अय्यर ने 383 रन और ऋषभ पंत ने 343 रन बनाए हैं।
#2.कगिसो रबाडा की शानदार गेंदबाजी
पिछले कुछ सालों में दिल्ली की ओर से ग्लेन मैक्ग्रा, अजीत अगरकर, ज़हीर खान, इरफान पठान और मोर्नी मोर्कल जैसे गेंदबाज खेल चुके हैं, लेकिन किसी भी गेंदबाज ने उतना छाप नहीं छोड़ा जितना कि युवा दक्षिण अफ्रीकी तेज गेंदबाज कगिसो रबाडा ने छोड़ा है। रबाडा ने इस सीजन दिल्ली कैपिटल्स के लिए शानदार प्रदर्शन करके सबका दिल जीत लिया है। ये दिल्ली की ओर से अकेले ऐसे गेंदबाज हैं जिन्होंने इस सीजन सभी मैचों में विकेट चटकाए हैं और लगभग किफायती गेंदबाजी भी की है।
रबाडा ने कोलकाता नाइट राइडर्स के खिलाफ सुपर ओवर में शानदार गेंदबाजी करके दिल्ली को मैच जिताया था। इसके अलावा उन्होंने सनराइजर्स हैदराबाद के खिलाफ भी 3.5 ओवरों में 22 रन देकर 4 विकेट चटकाए थे। इसके अलावा उन्होंने सभी मैचों में 1-2 विकेट जरूर चटकाए हैं।
रबाडा ने इस सीजन कुल 12 मैच खेलते हुए 14.72 की औसत से 25 विकेट चटकाए हैं। उनका यह प्रदर्शन दिल्ली की सफलता का मुख्य कारण रहा है।
#1. रिकी पोंटिंग और सौरव गांगुली की रणनीतिक सोच
दो बार के विश्वकप विजेता कप्तान रिकी पोंटिंग को पिछले सीजन ही दिल्ली का मुख्य कोच नियुक्त किया गया था। मुम्बई इंडियंस टीम को 2 वर्षों तक सफलतापूर्वक कोचिंग देने के बाद पोटिंग को दिल्ली डेयरडेविल्स ने अपने मैनेजमेंट का हिस्सा बनाया और मुख्य कोच नियुक्त किया। पोटिंग की देख-रेख में मुंबई इंडियंस टीम 2015 में आईपीएल का खिताब जीत चुकी है।
पिछले सीजन राहुल द्रविड़ इस टीम के मेंटर हुआ करते थे लेकिन उन्होंने अंडर-19 और इंडिया ए टीम पर ध्यान देने के लिए यह पद छोड़ दिया था। गौरतलब हो कि राहुल द्रविड़ अंडर-19 और इंडिया ए के मुख्य कोच हैं। उनके पद छोड़ने के बाद सौरव गांगुली को मेंटर बनाया गया।
दोनों दिग्गजों की रणनीति कितनी कारगर साबित हुई यह दिल्ली कैपिटल्स की सफलता को देखकर अंदाजा लगाया जा सकता है। इनकी कुशल रणनीति की बदौलत ही दिल्ली कैपिटल्स की टीम 6 साल बाद प्लेऑफ में पहुंच पाई।