ऐसा लगता है कि पठान बंधु फ़िलहाल अलग-अलग जिंदगी जी रहे हैं। 2017 आईपीएल नीलामी में नजरअंदाज किये जाने के एक दिन बाद इरफ़ान पठान को विजय हजारे ट्रॉफी के लिए बड़ौदा का कप्तान बनाया गया है जबकि उनके बड़े भाई यूसुफ पठान को टीम से बाहर कर दिया गया है। बड़ौदा क्रिकेट एसोसिएशन (बीसीए) के अधिकारी ने टाइम्स ऑफ़ इंडिया को कहा, 'यूसुफ को इसलिए टीम में शामिल नहीं किया गया क्योंकि पिछले कुछ समय से उनका प्रदर्शन काफी निराशाजनक रहा है। उन्होंने रणजी ट्रॉफी के इस सत्र में ज्यादा रन नहीं बनाए और न ही टी20 मैचों में कमाल की पारी खेली। उन्होंने सिर्फ एक अर्धशतक जमाया। हमने युवा खिलाड़ियों को मौका देने का फैसला किया जो बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं।' 2008 में आईपीएल के उद्घाटन संस्करण के बाद से कई टीमों के लिए खेल चुके इरफ़ान पठान को 2017 में 50 लाख का आधार मूल्य होने के बावजूद किसी टीम ने नहीं ख़रीदा था। वहीं यूसुफ को कोलकाता नाइटराइडर्स ने रिटेन किया हुआ हिया, जिसके लिए वह 2011 से खेलते हुए आ रहे हैं। हाल ही में यूसुफ पठान के हांगकांग टी20 ब्लिट्ज में हिस्सा लेने की चर्चाएं चली थी, लेकिन बीसीसीआई ने यू-टर्न लेते हुए उन्हें खेलने जाने की इजाजत नहीं दी। बहरहाल, पिछले वर्ष चोट और ख़राब फॉर्म से जूझे इरफ़ान पठान ने 2016 आईपीएल में आरपीएस की तरफ से सिर्फ चार मैच खेले थे। आईपीएल में नहीं चुने जाने के बाद इरफ़ान पठान ने अपने फैंस के लिए एक भावनात्मक संदेश ट्विटर पर शेयर किया था। यह भी पढ़ें : IPL नीलामी के बाद इरफ़ान पठान का फैन्स के लिए एक भावनात्मक संदेश अब उनका पूरा ध्यान घरेलू क्रिकेट पर लगा है, जहां दीपक हूडा उप-कप्तानी की जिम्मेदारी निभाते दिखेंगे। इरफ़ान ने हाल ही में संपन्न सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी में शानदार प्रदर्शन किया था। उन्होंने 4 मैचों में 6.28 की इकॉनमी के साथ 5 विकेट चटकाए थे। वहीं यूसुफ पठान के लिए 2016-17 रणजी सत्र बहुत ख़राब रहा। वह 6 मैचों में सिर्फ 76 रन ही बना सके। यूसुफ के अलावा मुनाफ पटेल को भी बड़ौदा की टीम से बाहर कर दिया है। बता दें कि बड़ौदा की टीम विजय हजारे ट्रॉफी में अपना पहला मैच रेलवेज के खिलाफ 25 फरवरी को खेलेगी।