झूलन गोस्वामी (Jhulan Goswami) इंग्लैंड के खिलाफ अंतिम वनडे के बाद खेलती हुई नहीं दिखेंगी। वह संन्यास लेने की घोषणा पहले से ही कर चुकी थीं। हरमनप्रीत कौर उनको टॉस के लिए अपने साथ ले गईं। वहीँ इंग्लैंड की टीम की तरफ से गोस्वामी को गार्ड ऑफ़ ऑनर दिया गया। यह उस समय हुआ जब झूलन गोस्वामी बल्लेबाजी करने के लिए मैदान पर आईं।
इंग्लैंड की टीम ने 39 वर्षीय खिलाड़ी को अपना अंतिम मैच खेलने के लिए मैदान जाने पर गार्ड ऑफ ऑनर देकर उनके प्रति सम्मान दिखाने का फैसला किया। हालांकि गोस्वामी अपने अंतिम अंतरराष्ट्रीय मुकाबले में बल्ले से कमाल दिखाने में नाकाम रहीं। वह गोल्डन डक पर आउट होकर पवेलियन लौट गईं।
एक ट्वीट में इंग्लैंड क्रिकेट ने भी गोस्वामी के लिए एक संदेश दिया और उन्हें महत्वाकांक्षी क्रिकेटरों के लिए प्रेरणा बताया। इससे पहले टीम हडल में गोस्वामी ने स्पीच दी। उन्होंने ब्रॉडकास्टर से भी बातचीत की। हरमनप्रीत कौर से वह गले मिलीं और हरमन की आँखों में आंसू थे।
मिताली राज ने भी गोस्वामी को लेकर एक बड़ी प्रतिक्रिया दी। पीटीआई से बातचीत में मिताली ने कहा कि हम दोनों समान उम्र वाले ग्रुप से आते हैं इसलिए बातचीत में कोई दिक्कत नहीं हुई। झूलन के साथ कभी भी बात की जा सकती थी। वह भारतीय टीम के आक्रमण को अकेले लेकर चलती थीं और कई सालों तक ऐसा देखा गया।
इस खेल के महानतम खिलाड़ियों में से एक के रूप में झूलन ने भारत के लिए 12 टेस्ट, 204 एकदिवसीय और 68 टी20 में भाग लिया और 353 अंतरराष्ट्रीय विकेट झटके, जो महिला क्रिकेट में एक गेंदबाज द्वारा सबसे अधिक हैं। उनके एकदिवसीय विकेट सबसे ज्यादा आए हैं। गोस्वामी ने इस प्रारूप में 253 विकेट झटके। वर्ल्ड कप में उन्होंने 43 वनडे विकेट झटके, जो एक बड़ा रिकॉर्ड है। टीम में उनके जाने से खाली हुई जगह को भर पाना मुश्किल होगा।