सुप्रीम कोर्ट द्वारा बनाई गई प्रशासकों की समिति ने पूर्व भारतीय कप्तान कपिल देव को एक नई जिम्मेदारी देने की सिफारिश की है। उन्हें चार सदस्यीय समिति का सदस्य बनाए जाने की सिफारिश की गई है, जो खिलाड़ियों का संगठन बनाने में सहयोग करेगी। खिलाड़ियों का संगठन बनाना सुप्रीम कोर्ट के लोढ़ा पैनल की सिफारिशों का ही एक हिस्सा है। संचालन समिति के नाम से बनने वाले इस ग्रुप में कपिल देव के अलावा पूर्व टेस्ट ओपनर अंशुमन गायकवाड़ और तमिलनाडु के पूर्व विकेटकीपर बराथ रेड्डी के नाम भी शामिल हैं, इसके अलावा जीके पिल्लई भी चौथे सदस्य हैं। इससे पहले लोढ़ा समिति ने जीके पिल्लई, मोहिंदर अमरनाथ, डायना एदुल्जी और पूर्व भारतीय कोच अनिल कुंबले की सदस्यता वाली समिति बनाना चाहा लेकिन अमरनाथ व कुंबले द्वारा उपलब्ध नहीं हो पाने की बात कहने पर ऐसा नहीं हो पाया। प्रशासकों की समिति द्वारा रिपोर्ट सुप्रीम कोर्ट में सबमिट करते हुए यह भी कहा गया कि एदुल्जी कई नियुक्ति की सम्भावना नजर नहीं आती क्योंकि वह सीओए की सदस्य भी रही हैं। कपिल देव का नाम बाद में सामने आया जब उन्होंने हरियाणा प्लेयर्स एशोसिएशन का हेड बनने से मना कर दिया था। कपिल ब्रॉडकास्ट टीम के भी सदस्य रहे हैं, वहीँ बराथ और रेड्डी बड़ौदा और क्रमशः प्रशासकीय कार्यों में शामिल रहे हैं। इसके अलावा सीओए ने रामचंद्र गुहा और विक्रम लिमाये के जाने से खाली हुए पदों पर नए व्यक्तियों को लाने की बात भी कही है। कुछ समय पहले गुहा ने अपने पद से इस्तीफ़ा डे दिया था और लिमाये को राष्ट्रीय स्टॉक एक्सचेंज से जुड़ना है। गौरतलब है कि कपिल देव के आने से खिलाड़ियों के संघ को बनाने में मजबूती मिलेगी और उनकी समस्याओं को चिन्हित करने से लेकर निवारण तक कई चीजों को सुलझाने में मदद मिलेगी। सीओए का यह कदम सराहनीय माना जा सकता है। कपिल देव की यह एक और नई पारी होगी।