इंग्लैंड क्रिकेट टीम के पूर्व कप्तान केविन पीटरसन के मुताबिक इंग्लैंड की टीम एकदिवसीय क्रिकेट में अच्छा करने के चक्कर में टेस्ट क्रिकेट में ज्यादा ध्यान नहीं दे रही है। साल 2015 में हुए आईसीसी विश्वकप के पहले ही दौर से बाहर होने के बाद इंग्लैंड की टीम ने पिछले दो सालों में लिमिटेड फॉर्मेट में अपने प्रदर्शन में काफी सुधार किया है। हालांकि इस बीच इंग्लैंड का टेस्ट क्रिकेट में फॉर्म काफी खराब रहा है। इंग्लैंड की टीम को ऑस्ट्रेलिया में एशेज में 0-4 से हार का सामना करना पड़ा, तो उसके बाद न्यूजीलैंड के खिलाफ सीरीज में 0-1 से करारी हार का सामना करना पड़ा था। इंग्लैंड की टेस्ट टीम को हमेशा ही घर में हराना मुश्किल रहता है, लेकिन हाल के समय में इंग्लैंड की टीम काफी संघर्ष करती हुई नजर आई है। पाकिस्तान के खिलाफ हुई 2 मैचों की सीरीज के पहले मैच में इंग्लैंड को पाकिस्तान ने 9 विकेट से हरा दिया था। हालांकि अंतिम टेस्ट को जीतकर इंग्लैंड की टीम टेस्ट सीरीज को 1-1 से बराबर करने में कामयाब हुई थी। हिंदुस्तान टाइम्स में छपी रिपोर्ट के अनुसार केविन पीटरसन ने आलोचना करते हुए कहा, "इंग्लैंड टीम ने 50 ओवर के विश्वकप को आजतक नहीं जीता है और इस समय अगले साल होने वाले विश्वकप को लेकर तैयारी तेज हैं। हालांकि उसके लिए टेस्ट क्रिकेट को दांव पर लगाया जा रहा है। ऐसी चीजें हम जैसे खिलाड़ियों के लिए काफी निराशा की बात है, जिन्होंने देश के लिए 100 से ज्यादा टेस्ट मैच खेले। फैंस को लिमिटेड ओवर फॉर्मेट से ज्यादा टेस्ट क्रिकेट पसंद है।" इंग्लैंड की टीम अब रविवार को स्कॉटलैंड के खिलाफ एडिनबर्ग में एकमात्र एकदिवसीय मैच खेलेगी, उसके बाद टीम का सामना अपने घर में 5 मैचों की सीरीज के लिए ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ होगा। दक्षिण अफ्रीका में हुए बॉल टैंपिरिंग मामले के बाद ऑस्ट्रेलिया टीम का यह पहला दौरा होने वाला है।