पूर्व भारतीय कप्तान और अब बीसीसीआई प्रेसिडेंट सौरव गांगुली ने अपनी कप्तानी की लीजेसी को लेकर बड़ा बयान दिया है। सौरव गांगुली ने कहा है कि जब भारत ने एम एस धोनी की कप्तानी में 2011 का वर्ल्ड कप जीता था तो उसमें 7-8 ऐसे खिलाड़ी थे जिन्होंने मेरी कप्तानी के अंदर अपने क्रिकेट करियर की शुरुआत की थी। सौरव गांगुली ने ये भी कहा कि जब धोनी की अगुवाई में भारत ने वर्ल्ड कप का खिताब अपने नाम किया था वो भारतीय क्रिकेट का सबसे बड़ा दिन था।
सौरव गांगुली ने अनअकेडमी के लिए एक ऑनलाइन वीडियो लेक्चर में कहा कि मेरे लिए सबसे बड़ा दिन वो था जब भारत ने 2011 का वर्ल्ड कप अपने नाम किया था। एम एस धोनी का वो शॉट, आखिरी गेंद पर छक्का लगाना, वो भारतीय क्रिकेट इतिहास में हमेशा अमर रहेगा और वो वाकई क्या शानदार पल था।
सौरव गांगुली ने बताया क्यों वो अपनी कप्तानी से काफी खुश हैं
सौरव गांगुली ने भारतीय क्रिकेट में अपनी लीजेसी को लेकर कहा कि 2011 वर्ल्ड कप जीतने वाली टीम में 7-8 खिलाड़ी ऐसे थे, जिन्होंने मेरी कप्तानी के अंदर अपने करियर की शुरुआत की थी। वीरेंदर सहवाग, एम एस धोनी खुद, युवराज सिंह, जहीर खान, हरभजन सिंह, आशीष नेहरा कई खिलाड़ी थे। इसलिए मैं काफी खुश हूं कि एक कप्तान के तौर पर मैंने ये लीजेसी छोड़ी। वो मेरी सबसे बड़ी लीजेसी थी कि मैंने एक ऐसी टीम बनाई थी जो घर में और बाहर दोनों जगहों पर जीतने में सक्षम थी।
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आपको बता दें कि सचिन तेंदुलकर, वीरेंदर सहवाग, युवराज सिंह, हरभजन सिंह और जहीर खान ये 5 खिलाड़ी ऐसे थे जिन्होंने सौरव गांगुली की कप्तानी में 2003 के वर्ल्ड कप फाइनल में भी हिस्सा लिया था और 2011 के वर्ल्ड कप फाइनल का भी हिस्सा थे। भारत ने एम एस धोनी की अगुवाई में 28 साल बाद वर्ल्ड कप का खिताब अपने नाम किया था। उससे पहले 2003 में भारतीय टीम सेमीफाइनल तक पहुंची थी।
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