वर्ल्ड कप (World Cup 2023) के लिए चुनी गई भारतीय क्रिकेट टीम के 15 सदस्यों में संजू सैमसन (Sanju Samson) का नाम शामिल नहीं है। टीम इंडिया के क्रिकेट फैन्स को उम्मीद थी कि संजू सैमसन को इस वर्ल्ड कप के स्क्वॉड में मौका मिल सकता है, लेकिन ऐसा नहीं हुआ। संजू सैमसन को ना ही वर्ल्ड कप टीम का हिस्सा बनाया गया और ना ही उससे पहले होने वाली ऑस्ट्रेलियाई वनडे सीरीज का।
श्रीसंत ने बताया संजू को ना चुने जाने का कारण
इस वजह से संजू सैमसन के फैन्स ने सोशल मीडिया पर टीम इंडिया के चयनकर्ताओं की आलोचना भी शुरू कर दी। संजू को सोशल मीडिया पर सैकड़ों फैन्स की सहानुभूति मिल रही है, लेकिन भारत के पूर्व तेज गेंदबाज एस. श्रीसंत का कहना है कि, सहानुभूति पाना बहुत आसान है, लेकिन सराहना कठिन है।
श्रीसंत ने स्पोर्ट्सकीड़ा पर वर्ल्ड कप में संजू सैमसन के चयन ना होने पर बातचीत करते हुए कहा,
"मुझे लगता है कि यह (वर्ल्ड कप में संजू को जगह ना मिलना) सही फैसला है, क्योंकि एक खिलाड़ी के लिए खुद को समझना बहुत जरूरी है। गावस्कर सर से लेकर हर्षा भोगले सर और रवि शास्त्री सर तक, हर कोई उन्हें उच्च दर्जे और गुणवत्ता वाला खिलाड़ी मानते हैं। उनकी क्षमता पर किसी को कोई संदेह नहीं है, लेकिन दृष्टिकोण... जब कोई उनसे पिच के अनुसार खेलने के लिए कहता है, तो वो सुनते नहीं हैं। वह अपने इस रवैये को बदल सकते हैं।"
श्रीसंत ने आगे कहा कि,
"मैं जब भी उनसे मिलता हूं, उन्हें सिर्फ एक बात कहता हूं: संजू, कृप्या विकेट को पढ़ो। इंतजार करो, हर गेंदबाज के पीछे मत जाओ। सोचो। आप किसी भी गेंदबाज को, कहीं भी, कभी भी शॉट्स मार सकते हो। आप सिर्फ मौके का इंतजार करो।"
श्रीसंत का कहना है कि कई लोगों के समझाने के बावजूद भी संजू ने अपने रवैये को नहीं बदला, जिसकी वजह से उनकी बल्लेबाजी में निरंतरता की काफी कमी है। उन्होंने कहा कि,
"संजू का समर्थन करने वाले मलयाली लोग, जिसमें मैं भी शामिल हूं, वो सभी कहते हैं कि संजू को मौके नहीं मिले हैं। हम ऐसा नहीं कह सकते। उन्हें आयरलैंड, और श्रीलंका के खिलाफ मौके मिले, वह पिछले 10 साल से आईपीएल खेल रहे हैं। वह 2013 से आईपीएल खेलते आ रहे हैं, वह कप्तान भी हैं, और सिर्फ तीन बार शतक लगाया है, और उनकी बल्लेबाजी में कभी भी निरंतरता नहीं दिखी है।"
2007 और 2011 में वर्ल्ड चैंपियन टीम के सदस्य श्रीसंत ने आगे कहा कि,
"मैं कहूंगा, वक्त किसी के लिए नहीं रुकता। हर इंसान समय के बारे में ही बात करता है। मैं भी संजू को यही बात कहूंगा। बहुत सारे नए खिलाड़ी आ रहे हैं। यहां तक कि एशियन गेम्स में भी दो कीपर (प्रभसिमरन सिंह और जितेश शर्मा) गए हैं। जब हर कोई आपके बारे में बात कर रहा है, तो आप इसे महत्व दें। सहानुभूति प्राप्त करना बहुत आसान है, लेकिन सराहना करना मुश्किल है।"