पाकिस्तान के क्रिकेट इतिहास में जावेद मियांदाद की प्रतिष्ठता के बराबर उन्हें प्रतिस्पर्धा देने के लिए बहुत कम खिलाड़ी रहे। 1980 के दशक में कराची के ये रन मशीन दोनों प्रारूपों में टीम की बल्लेबाजी का मुख्य आधार थे। 67 की उनकी स्ट्राइक रेट आज के बल्लेबाजी के मानकों के मुकाबले में कुछ कमजोर लगती है, लेकिन वह उस युग में खेले जब इस रेट पर स्कोर करना पूरी तरह स्वीकार्य था। हालांकि जरूरत पड़ने पर टेंपो बढ़ाने की उनकी क्षमता के बारे में कुछ संदेह किया जा सकता था। टेस्ट में उनका औसत 52 और वनडे में औसत 41 था जो उनके सिलसिलेवार प्रदर्शन को दिखाता है। उन्होंने 1992 के विश्व कप में 437 रन बनाकर टीम को चैंपियन बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई थी , वह 1992 विश्वकप में न्यूज़ीलैंड के मार्टिन क्रो (456 रन) के बाद दूसरे नंबर पर सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ी रहे। मियांदाद के बारें में कोई भी लेख 1986 ऑस्ट्रेलियन कप के दौरान चेतन शर्मा की आखिरी गेंद पर मारे गये छक्के के बिना पूरा नहीं होता है, जिस वजह से पाकिस्तान मैच जीत सका था। वह एक ऐसा शॉट था जो आज भी कई भारतीयों के जहन में ताजा है। वह पाकिस्तानी बैटिंग लाइन अप के नंबर 3 स्लॉट पर फिट बैठते है। #4 इंज़माम-उल-हक़
इस श्रेणी में निसंकोच एक और विकल्प, वनडे और टेस्ट दोनों में, इंजमाम-उल-हक पाकिस्तान की मिट्टी से उभरने वाले सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाज़ों में से एक है। 1992 के विश्वकप के सेमीफाइनल में न्यूजीलैंड के खिलाफ 37 गेंदों पर धमाकेदार 60 रन ने ना सिर्फ पाकिस्तान को एक अनिश्चित जीत दिलाई बल्कि पाकिस्तान को शानदार ढंग से फाइनल में पहुंचाने में मुख्य भूमिका निभाई। उसके बाद उन्होंने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा और समय समय पर अपनी शक्ति का प्रदर्शन किया। इंज़माम को अक्सर विकेट के बीच दौड़ के लिए उनकी आलोचना की जाती है लेकिन इसके बावजूद उनके आलोचक भी यह मानते है कि वह अपने समय के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाज रहे हैं। जबकि वह पार्क के चारों ओर शॉट्स खेलने में माहिर थे, खासकर तेज गेंदबाजों के खिलाफ उनके पुल औप स्पिनर के खिलाफ ड्राइव क्लासिक रहती थी। इंजी ने अपने करियर में 378 एकदिवसीय मैच खेले जिसमें 39.52 की औसत और 74 की स्ट्राइक रेट से 11739 रन बनाये। वह पाकिस्तान की तरफ से एकदिवसीय में सबसे ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ी हैं और ऐसे खिलाड़ी को टीम की हमेशा जरूरत रहती है। ऐसे में इंज़माम नंबर 4 पर परफेक्ट बैठते हैं। #5 मोहम्मद यूसुफ
अधिकांश पाकिस्तानी प्रशंसकों के लिए इंजमाम-उल-हक के साथ मोहम्मद यूसुफ की बल्लेबाजी 2000 के दशक की पहली छमाही में बेहद आश्वस्त करने वाली थी। यह जोड़ी टेस्ट और वनडे में पाकिस्तान की मध्य क्रम की रीढ़ थे। यूसुफ में रनों की भूख 2006 में देखने को मिली जब उन्होंने टेस्ट मैचों में एक कैलेंडर वर्ष में 1788 रनों का विशाल स्कोर खड़ा किया और सर विवियन रिचर्ड्स के सर्वोच्च रनों के रिकॉर्ड को पीछे छोड़ा। यह रिकॉर्ड आज भी मौजूद है। 1970 के दशक के स्टाइलिश बल्लेबाज जहीर अब्बास, जिन्हें 'एशियन ब्रैडमैन' कहा जाता है, इसी तरह रनों की भूख की वजह से इस स्लॉट के लिए एक मजबूत दावेदार हैं। उन्होंने 47 रनों की औसत और 84 रन की स्ट्राइक रेट से रन बनाए लेकिन यह केवल 62 मैचों के लिए था। वहीं युसूफ ने 288 मैचों में 9720 रन बनाये हैं और इंजमाम को छोड़कर कोई भी पाकिस्तानी बल्लेबाज इतने रन नहीं बना सका है। लंबे समय तक एक बल्लेबाज के रूप में उत्कृष्टता के आधार पर यूसुफ इस नंबर पर फिट बैठते हैं।