चेन्नई सुपरकिंग्स का प्रतिबन्ध हटने के बाद भारतीय ऑफ़ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन सुर्ख़ियों में आ गए हैं। उन्होंने सीएसके की तुलना फरवरी 1958 में म्युनिक में हुए प्लैन क्रेश के बाद अस्तित्व में आया फुटबॉल क्लब मैनचेस्टर यूनाइटेड से कर दी।गौरतलब है कि इस दुर्घटना में इस क्लब के 8 खिलाड़ियों की मौत हुई थी। कुल 44 लोगों में से 21 की घटनास्थल पर मौत होने के बाद 2 और लोगों ने अस्पताल में दम तोड़ दिया था। इस घटना के बाद किसी भी फुटबॉल क्लब में मैंनचेस्टर यूनाइटेड का सबसे अधिक समर्थन किया जाता है।
हालांकि अश्विन को जब अपना बयान विवादस्पद लगा तब उन्होंने 3 ट्वीट कर इस पर सफाई दी और कहा कि इसका गलत अर्थ निकाला जा रहा है, उनका मतलब म्युनिक घटना को गलत तरीके से बयान करना या इस पर असंवेदनशील होना नहीं था।बकौल अश्विन "मुझे लगता है कि 2 साल के बैन के बाद शायद सीएसके की अहमियत इस तरह बढ़ेगी जैसे प्लैन क्रेश घटना के बाद मैनचेस्टर यूनाइटेड की बढ़ी थी। चेन्नई सुपरकिंग्स के फैन्स और विश्वभर में सीएसके का इन्तजार कर रहे हैं। आशा करता हूं कि यह एक अच्छी वापसी होगी।"यूगोस्लाविया में यूरोपियन कप मैच के बाद एक फ्लाइट में मैट बस्बी की मैनचेस्टर यूनाइटेड की टीम वापस आ रही थी। इसमें उनके समर्थक और पत्रकार भी शामिल थे, प्लैन में ईंधन भरवाने के लिए उसे 6 फरवरी 1958 को म्युनिक हवाई अड्डे पर रोका गया था। मैनचेस्टर के आठ खिलाड़ियों की इसमें मौत हो गई थी। प्लैन में कुल 44 लोग सवार थे,जिनमें से 21 लोग ही बचे थे। इसके बाद मैनचेस्टर को फुटबॉल की दुनिया में एक अलग पहचान मिली और सबसे अधिक पसंद किया जाने वाला क्लब बनकर उभरा।
रविचंद्रन अश्विन का बयान मीडिया में आने के बाद उन्होंने इसको लेकर ट्वीट किये और अपने तीन ट्वीट के माध्यम से उन्होंने कहा कि उनकी बात को गलत दिशा में नहीं ले जाएं क्योंकि उनका मतलब उस संवेदनशील घटना पर गलत तरह से बोलने का इरादा बिलकुल नहीं था।