# 50वां शतक-111* सेंचुरियन पार्क में दक्षिण अफ़्रीका के ख़िलाफ़ (2010)
साल 2010 के आखिरी में भारतीय टीम ने दक्षिण अफ्रीका का दौरा किया। जहां भारतीय टीम ने दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ तीन टेस्ट मैचों की सीरीज खेली। इस तीन टेस्ट मैचों की सीरीज का पहला टेस्ट मैच सेंचुरियन पार्क में खेला गया। इस मैच को कई मायनों में याद किया जाता है। इस टेस्ट मैच में दक्षिण अफ्रीका ने टॉस जीता और पहले गेंदबाजी करने का फैसला किया। इसके साथ ही भारतीय टीम को पहले बल्लेबाजी करने का आमंत्रण दिया। हालांकि मैच के पहले दिन ही भारतीय टीम दबाव में दिखी। दक्षिण अफ्रीका की गेंदबाजी के आगे पूरी भारतीय टीम ही फिसड्डी साबित हुई और 136 रनों के स्कोर पर पूरी टीम ने दक्षिण अफ्रीका के आगे घुटने टेक दिए। पहली पारी में 136 रनों के स्कोर पर ऑल आउट हो जाने के बाद भारतीय टीम गेंदबाजी में भी कुछ खास कमाल नहीं दिखा पाई। दक्षिण अफ्रीका ने बल्लेबाजी करते हुए भारत के सामने 620 रनों का एक पहाड़ जैसा स्कोर खड़ा कर दिया। इस स्कोर के साथ ही दक्षिण अफ्रीका को एक बड़ी बढ़त भी हासिल हो गई। भारतीय टीम इस मैच में पूरी तरह से दवाब में आ चुकी थी। दूसरी पारी में बल्लेबाजी करने आई भारतीय टीम ने संभलकर बल्लेबाजी की। पहली पारी की तरह इस बार भारतीय टीम के विकटों की झड़ी तो नहीं लगी लेकिन टीम दबाव में थी। इस दबाव की घड़ी में सचिन तेंदुलकर ने टीम के स्कोर में खास योगदान दिया। सचिन तेंदुलकर हालात को ध्यान में रखकर रन स्कोर किए जा रहे थे। धीरे-धीरे ही रन स्कोर करते हुए सचिन तेंदुलकर ने शतक भी लगा डाला। सचिन तेंदुलकर का ये शतक काफी अहम था। पहला, ये शतक टीम को मजबूती देने के लिए ऐसे समय में आया जब टीम संघर्ष कर रही हो और दूसरा, ये सचिन तेंदुलकर के टेस्ट करियर का 50वां शतक था। क्रिकेट इतिहास में सचिन तेंदुलकर के अलावा कोई भी ऐसा बल्लेबाज नहीं है जिसने अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट के किसी फॉर्मेट में 50 शतक लगाने में कामयाबी हासिल की हो। सचिन तेंदुलकर ही एकमात्र ऐसे बल्लेबाज हैं जिनके नाम क्रिकेट के किसी फॉर्मेट में 50 शतकों का रिकॉर्ड दर्ज हो। वहीं 37 साल की उम्र में 50 टेस्ट शतकों का तक का सफर करना किसी भी बल्लेबाज के लिए काफी अहम रहता है। हालांकि अपने 50वें टेस्ट शतक के मैच में सचिन तेंदुलकर अपनी टीम को जीत नहीं दिला पाए। इस मैच में टीम को हार का सामना करना पड़ा। इस मैच में सचिन तेंदुलकर ही भारत की ओर से एकमात्र ऐसे बल्लेबाज थे तो क्रीज पर अंत तक डटे रहे औ नॉट आउट रहे। सचिन तेंदुलकर ने इस मैच में 241 गेंदों का सामना किया और 111 रनों की नाबाद पारी खेली। इस पारी में सचिन की स्ट्राइक रेट 46.05 रही। वहीं उन्होंने 13 चौके और 1 छक्का भी इस मैच में लगाया। अगर सचिन तेंदुलकर को इस मैच में दूसरे छोर से साथ मिलता तो शायद ये मैच टीम इंडिया बचा सकती थी लेकिन आखिर में टीम को पारी और 25 रनों से हार का सामना करना पड़ा। लेखक: सोहम समद्दर अनुवादक: हिमांशु कोठारी