# 17 113, वेलिंगटन में न्यूजीलैंड के ख़िलाफ़ 1998
साल 1998 सचिन तेंदुलकर से लिए पहले ही खास बन चुका था। साल के आखिर में टीम इंडिया ने न्यूजीलैंड का दौरा किया। वहां भी सचिन तेंदुलकर ने अपने बल्ले से कमाल दिखाया। जिस तरह से उन्होंने कई प्रकार के गेंदबाजी आक्रमणों का सामना किया, वो देखना अभूतपूर्व था। साल 2018 में उन्होंने वनडे क्रिकेट में नई ऊंचाइयों को छूआ। अपनी शानदार बल्लेबाजी की बदौलत सचिन तेंदुलकर ने 65.31 की औसत और 102.16 की स्ट्राइक रेट से 1894 रन बनाए। इतना ही नहीं, वनडे में सचिन तेंदुलकर ने 9 शतक भी अपने नाम किए। वहीं टेस्ट में उन्होंने 81.17 की औसत से 487 रन बनाए। साल के आखिर में न्यूजीलैंड के खिलाफ बेसिन रिजर्व (वेलिंगटन) में खेले गए टेस्ट में भारतीय टीम ने पहले बल्लेबाजी करने का फैसला किया। पहले दिन ही टीम इंडिया को न्यूजीलैंड ने 208 रनों पर समेट कर रख दिया। इसमें सबसे ज्यादा अजहरुद्दीन ने 103 और सचिन ने 47 रनों का योगदान दिया। इसके जवाब में न्यूजीलैंड ने बल्लेबाजी करते हुए 352 रन बना डाले और भारतीय टीम पर बढ़त भी बना ली। मैच की पहली पारी ही खत्म हुई थी लेकिन मैच अभी बाकी था। दूसरी पारी में न्यूजीलैंड की शानदार गेंदबाजी का सामना करने सचिन तेंदुलकर जब बल्लेबाजी करने आए तब भी भारतीय टीम न्यूजीलैंड से 68 रन पीछे थी। लेकिन तेंदुलकर ने जब टीम की कमान संभाली तो मैच का रुख ही पलट कर रख दिया। उन्होंने अजहरुद्दीन और सौरव गांगुली के साथ साझेदारी करके टीम को बढ़त दिलाई और मजबूत स्थिति में ला खड़ा किया। इस मैच में तेंदुलकर ने 113 रनों की पारी खेली और साथ ही अपने टेस्ट करियर का 17वां शतक भी लगा दिया। तेंदुलकर की पारी की बदौलत दूसरी पारी में टीम इंडिया ने 356 रन बनाए। जिके बाद 213 रनों के लक्ष्य का पीछा करने आई न्यूजीलैंड को भारतीय टीम ने शुरुआती झटके देकर टीम को बैकफुट पर ला खड़ा किया। भारतीय टीम ने न्यूजीलैंड के 74 रनों पर ही 5 विकेट झटक लिए थे। लेकिन क्रेग मैकमिलन के 74 रन और क्रिस केर्न्स के 61 रन ने न्यूजीलैंड को वापस पटरी पर ला खड़ा किया और अपनी टीम को जीत दिला दी। भारत की हार के साथ ही इस मैच में सचिन तेंदुलकर का शतक भी बेकार गया।