अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में किसी भी बल्लेबाज के लिए ऑस्ट्रेलिया का दौरा सबसे कठिन माना गया है। ऑस्ट्रलियाई टीम के साथ दर्शक और मीडिया से भी विरोधी टीम और उनके खिलाड़ियों को सामना करना होता है लेकिन इन सबसे ऊपर उठते हुए युवा सचिन तेंदुलकर ने 1992 दौरे पर सिडनी टेस्ट में शतक लगा कर खूब चर्चाएँ बटोरी और फिर विश्व की सबसे तेज पिच मानी जाने वाली पर्थ मैदान की पिच पर सचिन ने ऑस्ट्रेलिया के तेज गेंदबाजों के सामने डट कर सामना करते हुए एक और शानदार शतक जड़ा। उन्होंने 114 रनों की शानदार शतकीय पारी खेली और यह शतक उनके 100 टेस्ट शतकों में काफी ख़ास माना जाता है।