भारतीय क्रिकेट बोर्ड के प्रेसिडेंट सौरव गांगुली (Sourav Ganguly) ने मैनचेस्टर टेस्ट मैच (IND vs ENG) कैंसिल होने को लेकर बड़ी प्रतिक्रिया दी है। उन्होंने बताया है कि मैच से पहले खिलाड़ियों के मन में क्या डर था और किस वजह से उन्होंने इस मैच में नहीं खेलने का फैसला किया।
सौरव गांगुली के मुताबिक असिस्टेंट फिजियो योगेश परमार के कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद खिलाड़ी काफी डर गए थे। उन्हें डर था कि ये वायरस उनको भी अपनी चपेट में ना ले ले। गांगुली ने कहा कि योगेश परमार के पॉजिटिव पाए जाने से खिलाड़ी शॉक रह गए थे और वो बायो बबल में खुद को कंफर्टेबल महसूस नहीं कर रहे थे।
गांगुली ने बताया कि खिलाड़ियों से बातचीत के बाद बीसीसीआई ने इंग्लैंड क्रिकेट बोर्ड से बात की और उसके बाद पांचवें टेस्ट मैच को कैंसिल करने का फैसला किया गया।
असिस्टेंट फिजियो के कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद खिलाड़ी काफी डर गए थे - सौरव गांगुली
द टेलीग्राफ से खास बातचीत में सौरव गांगुली ने मैनचेस्टर टेस्ट को लेकर प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा "प्लेयर्स ने खेलने से मना कर दिया लेकिन आप उनको जिम्मेदार नहीं ठहरा सकते हैं। फिजियो योगेश परमार खिलाड़ियों के साथ कॉन्टैक्ट में थे। नितिन पटेल के आइसोलेशन के बाद खिलाड़ियों से उनका संपर्क ज्यादा हुआ था और यहां तक कि प्लेयर्स के कोविड टेस्ट उन्होंने ही किए थे। इसके अलावा वो खिलाड़ियों को मसाज भी दिया करते थे।"
गांगुली ने आगे कहा "जब खिलाड़ियों को ये पता चला कि योगेश परमार खुद कोरोना पॉजिटिव पाए गए हैं तो वो काफी हताश हो गए। उनको डर था कि उन्हें भी ये वायरस हो गया है क्योंकि वो उनके संपर्क में आए थे। बायो-बबल में रहना आसान नहीं होता है और खिलाड़ियों की भावनाओं का आपको सम्मान करना होगा।"
आपको बता दें कि कोरोना वायरस की वजह से भारतीय खिलाड़ियों ने मैनचेस्टर टेस्ट में खेलने से मना कर दिया था और इसी वजह से इस मैच को कैंसिल कर दिया गया। असिस्टेंट फिजियो के कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद कई भारतीय खिलाड़ियों ने इस टेस्ट मैच में खेलने को लेकर चिंता जाहिर की थी। बीसीसीआई से बातचीत में उन्होंने मैनचेस्टर टेस्ट मैच में खेलने को लेकर दुविधा जताई थी।