5 ऐसे मौक़े जब वनडे क्रिकेट में एक ही स्पेल में लगातार 10 ओवर कर गए तेज़ गेंदबाज़

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फ़रवीज़ महरूफ़

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फरवीज महारूफ श्रीलंका के प्रतिभाशाली गेंदबाजों में से एक थे। वह जब केवल 19 साल के थे तभी उन्होंने 2004 में श्रीलंका के लिए डेब्यू किया था। उनसे श्रीलंकाई क्रिकेट को बहुत ही अपेक्षायें थी, हालांकि वह उन अपेक्षाओं पर खरे नहीं उतर सके। लेकिव कई बार उन्होंने अपने प्रतिभा के हिसाब से भी प्रदर्शन किया। इनमें से पहला 2005 में इंडियन ऑयल कप में आया था। श्रीलंका अपने मेजबानी में भारत और वेस्टइंडीज टीम के साथ एक त्रिकोणीय श्रृंखला में प्रतिस्पर्धा कर रही थी। श्रीलंका ने भारत के खिलाफ अपना पहला मैच जीता और वेस्टइंडीज के खिलाफ अपने दूसरे मैच में भी अच्छी शुरूआत की। मार्वन अटापट्टू और कुमार संगकारा के अर्धशतकों की मदद से श्रीलंका ने 50 ओवरों में 6 विकेट पर 241 रनों का सम्मानजनक स्कोर बनाया। महरूफ और दिलहारा लोकुहितगे ने श्रीलंका की तरफ से गेंदबाजी की शुरूआत की। महरुफ ने अपने पहले पांच गेंदों में 3 रन दिए लेकिन इसके बाद उनकी अगली बाइस गेंदों पर कोई रन नहीं बना। महरूफ सही जगह पर गेंदों को डाल रहे थे इसलिए श्रीलंकाई कप्तान अटापट्टू ने उनसे लगातार पूरे कोटे की गेंदबाजी कराने का फैसला किया। महरूफ ने 10 ओवरों में सिर्फ 9 रन देकर 3 विकेट लिए। उन्होंने जेवियर मार्शल, रेयान रामदास और रिकार्डो पॉवेल को ऑउट किया। वेस्टइंडीज सिर्फ 191 रन पर ऑलआउट हो गई और श्रीलंका ने 50 रनों से जीत दर्ज की। इसके बाद श्रीलंका ने फाइनल में भारत को हराकर इस टूर्नामेंट को भी जीत लिया।