कभी कभी क्रिकेटर मैच जीतने के मोह में खेल की मर्यादा और भावना को परे रख देते हैं। खिलाड़ी जीतने के लिए ना केवल बेईमानी का सहारा लेने की कोशिश करता है बल्कि दूसरों पर भी उसका दवाब डालने का प्रयास करता है। भारतीय टीम के लिए खेल चुके मध्यप्रदेश के विकेटकीपर बल्लेबाज नमन ओझा ने भी गुरुवार को विजय हजारे ट्रॉफी के ग्रुप-बी मैच में ऐसा ही व्यवहार किया। उन्होंने अंपायर के साथ बदसलूकी की, मैदान पर उनके खराब बर्ताव की वजह से मुकाबला करीब 20 मिनट तक रुका भी रहा। इस मुकाबले में ओझा की टीम मध्यप्रदेश को दिल्ली के हाथों करारी शिकस्त भी झेलनी पड़ी।
नमन का अंपायर के साथ विवाद पारी के 28वें ओवर में हुआ।यह मामला नीतीश राणा के विकेट से जुड़ा रहा। दरअसल, स्पिनर रमीज खान की गेंद पर राणा ने स्वीप शॉट खेला और स्क्वायर लेग पर फील्डर ने कैच लपक लिया, जिस पर मध्यप्रदेश के खिलाड़ी विकेट का जश्न मनाने लगे जबकि राणा क्रीज पर जमे रहे।
अंपायर राजीव गोदरा ने स्क्वायर लेग अंपायर नवदीप सिंह के साथ चर्चा की और तीसरे अंपायर से निर्णायक फैसला देने का इशारा किया। रिप्ले देखने वाले अंपायर ने नितीश राणा को नॉटआउट करार दिया, जिसके बाद ओझा अपना आपा खो बैठे।
टीम इंडिया के लिए एक टेस्ट, एक वन-डे और दो अंतर्राष्ट्रीय टी20 मैच खेल चुके ओझा ने गुस्से में आकर अंपायर गोदरा की तरफ उंगली दिखाई और उनकी क्षमता पर सवाल खड़े किए। वह अंपायर से झड़प करने लगे, जिसकी वजह से मैच करीब 20 मिनट तक रुका रहा।
मैच रेफरी गोयल ने मैदान पर आकर मामला संभाला और फिर मैच आगे बढ़ा। बहरहाल, मैच दोबारा शुरू हुआ और दिल्ली ने मध्यप्रदेश को 285 रन का चुनौतीपूर्ण लक्ष्य दिया। इसका पीछा करते हुए मध्यप्रदेश की टीम केवल 209 रन पर ढेर हो गई। अब ओझा पर नियमों के उल्लंघन के चलते कड़ी सजा मिलने का खतरा मंडरा रहा है।