राजकोट में भले ही अब तक का पहला टेस्ट मैच आयोजित हुआ हो लेकिन भारतीय कप्तान विराट कोहली ने यहाँ की पिच पर आश्चर्य जताया है। कोहली ने कहा कि पिच पर अत्यधिक घास होने के कारण तीन स्पिनरों को नहीं खिलाया गया था। एक पाँच दिनों के मैच में 1500 रन बनने के बाद महज 29 विकेट गिरना, यह कहना सही होगा कि यह पिच दक्षिण अफ्रीका और न्यूजीलैंड के खिलाफ हुई सीरीजों से अलग थी। पिच के बारें में बात करते हुए कोहली ने कहा कि मैं पिच पर घास देखकर आश्चर्य चकित था। जब वे पाँच गेंदबाजों को खिलाने का कारण बता रहे थे तो उन्होने कहा कि पिच की स्थिति का इससे कोई लेना-देना नहीं है। मैंने सोचा “अश्विन अच्छी बल्लेबाजी कर रहे हैं, उन्होंने इस वर्ष हमारे लिए बहुत रन बनाए हैं, इसके अलावा रिद्धिमान साहा, ये दोनों आश्वस्त थे। यह जडेजा का घरेलू मैदान होने के कारण कुछ रन बनाने के लिए उन्हें पीछे रखा। इसलिए अमित मिश्रा के लिए खेलने का एक मौका बना।“ इस 28 वर्षीय खिलाड़ी ने कहा कि पाँच गेंदबाज खिलाने के बावजूद भारत ने इंग्लैंड के स्कोर का बखूबी पीछा करते हुए 500 रन के बेहद करीब पहुँच गये। कोहली ने कहा “इस मैच से पहले प्रथम श्रेणी क्रिकेट में इस मैदान पर पहली पारी का औसत स्कोर 397 रन है, इसलिए हमेशा बल्ले को गेंद से श्रेष्ठ होना चाहिए लेकिन जिस तरह पांचवें दिन तक बल्लेबाजों ने निरंतर रन बनाए, वो आश्चर्यजनक है।“ कोहली ने कहा "हमने तीसरे दिन के अंतिम घंटे में देखा कि गेंद स्पिनरों को कुछ मदद कर रही है। चौथे और पांचवें दिन कई बार गेंद ने उछाल प्राप्त किया लेकिन आपको उसके लिए सही जगह पर गेंद डालना जरूरी होता है।" कोहली ने कहा कि पहले दो दिन पिच में बल्लेबाजों के लिए बहुत कुछ था जिससे 10 विकेट के नुकसान पर 600 रन बने लेकिन तीसरे दिन से पिच धीमी हो गई। कोहली को उम्मीद है कि अगले मैचों में जरूर स्पिनरों को मदद करने वाली पिचें मिलेगी। भारत और इंग्लैंड के बीच दूसरा टेस्ट मैच 17 नवंबर से विशाखापट्नम में होगा। यह वही मैदान है जहां न्यूजीलैंड को भारतीय टीम के स्पिनरों ने अंतिम वनडे मैच में सस्ते में निपटा दिया था।