#2 आमिर इलाही
आमिर इलाही ने 1947 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ भारत के लिए अपना पहला और आखिरी मैच खेला था। हालांकि उन्होंने इस मैच में एक भी ओवर की गेंदबाजी नहीं की थी। इस खिलाड़ी का करियर ज्यादा सफल नहीं रहा हालांकि उन्हें घरेलू क्रिकेट में महत्वपूर्ण सफलता मिली और वह टीम बड़ौदा के एक महत्वपूर्ण खिलाड़ी थे।
आमिर ने इसके बाद पाकिस्तान की नागरिकता ली और 1953 में पाकिस्तान को टेस्ट का दर्जा मिलने के बाद उन्होंने 5 टेस्ट खेलकर 7 विकेट झटके। उन्होंने अपना आखिरी टेस्ट मैच 44 की उम्र में भारत के खिलाफ खेला।
#3 अब्दुल हफीज कारदार
अब्दुल हफीज कारदार को पाकिस्तान क्रिकेट का जनक भी कहा जाता है। यह एक संपूर्ण ऑलराउंडर थे। इन्होंने इंग्लैंड के खिलाफ भारत का प्रतिनिधित्व किया मगर वे उस सीरीज में ज्यादा प्रभाव बनाने में नाकामयाब रहे।
आजादी के बाद कारदार पाकिस्तान चले गए और 1952 में पाकिस्तान के पहले कप्तान बने। उन्होंने भारत के खिलाफ ही पाकिस्तान की ओर से पदार्पण किया और उन्होंने अपनी कप्तानी में पाकिस्तान को उस समय सभी टेस्ट खेलने वाले देशों के खिलाफ जीत भी दिलाई। उन्होंने 23 मैचों में पाकिस्तान का प्रतिनिधित्व किया और बाद में एक मैनेजर बन गए। उन्हें 1958 में पाकिस्तान सरकार से प्राइड ऑफ परफॉर्मेंस अवार्ड भी मिला।