वर्ल्ड कप के लिए अब बस कुछ ही महीने शेष है। क्रिकेट के सबसे बड़े टूर्नामेंट की मेजबानी इस बार वेल्स और इंग्लैंड द्वारा की जाएगी।
इस प्रतिष्ठित ट्रॉफी के लिए दस टीमें एक-दूसरे के खिलाफ उतरेंगी। इस बार प्रारूप बदल दिया गया है और शुरू में एकल राउंड-रॉबिन प्रारूप का पालन किया जाएगा। शीर्ष 4 टीमें सेमीफाइनल में जगह बनाएंगी और सेमीफाइनल के विजेता फाइनल में प्रगति करेंगे। ऐसा प्रारूप आखिरी बार 1992 क्रिकेट विश्व कप के दौरान उपयोग किया गया था।
कुछ खिलाड़ियों के लिए यह अंतिम विश्व कप हो सकता है। इस लेख में, हम विशेष रूप से कुछ विश्व स्तरीय एशियाई क्रिकेटरों पर ध्यान केंद्रित करते हैं, जिनके लिए आगामी विश्व कप सभी संभावनाओं में आखिरी होगा।
#5. मशरफे मोर्तजा (बांग्लादेश)
बांग्लादेश के मशरफे मोर्तजा का करियर लंबा और शानदार रहा है। कई चोटों के बावजूद इस गेंदबाज-ऑलराउंडर के नाम कई रिकॉर्ड हैं।
मशरफे ने बांग्लादेश के लिए 202 एकदिवसीय मैच खेले हैं जो कि बांग्लादेश क्रिकेट इतिहास में सर्वाधिक है। उन्होंने राष्ट्रीय टीम के कप्तान के रूप में अधिकतम उपस्थिति (70) भी दर्ज कराई है। 202 एकदिवसीय मैचों में 258 विकेट के साथ, मोर्तजा ने इस प्रारूप में बांग्लादेश के लिए सबसे अधिक विकेट लेने का रिकॉर्ड भी बनाया है।
इस तेज गेंदबाज ने 36 टेस्ट में 78 विकेट लेने के साथ-साथ 54 अंतराष्ट्रीय टी-20 में 42 विकेट लिए हैं। 35 वर्षीय खिलाड़ी ने एक प्रभावी निचले क्रम के बल्लेबाज के रूप में अपनी योग्यता साबित की है।
मोर्तजा ने अतीत में आईपीएल में कोलकाता नाइट राइडर्स का प्रतिनिधित्व किया था और बांग्लादेश प्रीमियर लीग में 3 टीमें - ढाका ग्लेडिएटर्स, कोमिला विक्टोरियंस और रंगपुर राइडर्स का प्रतिनिधित्व किया।
बांग्लादेशी खिलाड़ी वर्तमान में बीपीएल में रंगपुर राइडर्स के लिए खेल रहे हैं और उन्होंने टीम के लिए कुछ उपयोगी प्रदर्शन भी दिए हैं।
उनकी उम्र को ध्यान मे रखते हुए ये कहा जा सकता है कि यह विश्व कप इनके लिए आखिरी है।
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#4. मोहम्मद हफीज (पाकिस्तान)
मोहम्मद हफीज पाकिस्तान के सर्वश्रेष्ठ ऑलराउंडर में से एक हैं। इस दायें हाथ के बल्लेबाज ने 55 टेस्ट में 37.65 की औसत से 3652 रन बनाए हैं। इन्होंने 203 वनडे में 32.73 की औसत से 6153 रन और 89 अंतराष्ट्रीय टी-20 में 24.46 के औसत से 190 रन बनाए हैं।
सरगोधा में जन्मे इस खिलाड़ी गेंद के साथ भी कुछ कम नहीं है। उन्होंने वनडे, टेस्ट और टी20 में क्रमशः 137, 53, 54 विकेट लिए हैं। एक ऑफ-ब्रेक गेंदबाज के तौर पर हफीज बेहद किफायती भी हैं।
कोलकाता नाइट राइडर्स, फैसलाबाद वूल्व्स, लाहौर लायंस, पेशावर ज़ालमी, सेंट किट्स एंड नेविस पैट्रियट्स, राजशाही किंग्स और लाहौर कलंदर्स कुछ ऐसी घरेलू टीमें हैं जिनका प्रतिनिधित्व इस ऑलराउंडर ने किया हैं। यह 38 वर्षीय ऑलराउंडर इस समय दक्षिण अफ्रीका में एकदिवसीय मैच खेल रहे हैं।
हाफिज ने हाल ही में टेस्ट क्रिकेट को अलविदा कह दिया और 2019 विश्व कप के बाद वह एकदिवसीय से भी संन्यास ले सकते हैं।
#3. लसिथ मलिंगा (श्रीलंका)
35 वर्षीय लसिथ मलिंगा के लिए यह आखिरी विश्व कप हो सकता है। यह श्रीलंकाई गेंदबाज अपने तेजतर्रार स्वभाव, स्टाइलिश बाल और गेंद के साथ अपनी क्षमता के लिए जाना जाते है।
एकदिवसीय मैचों मे लगातार चार गेंदों मे चार विकेट लेने का कारनामा करने वाले मलिंगा ने अब तक 213 एकदिवसीय मैचों में 318 विकेट, 30 टेस्ट में 101 विकेट और 70 अंतराष्ट्रीय टी-20 में 94 विकेट लिए हैं। हाल ही में, उन्होंने न्यूजीलैंड के खिलाफ एकदिवसीय मैचों में राष्ट्रीय टीम की कप्तानी भी की थी।
मुंबई इंडियंस, रुहुना रॉयल्स, मेलबर्न स्टार्स, गुयाना अमेजॉन वॉरियर्स, सदर्न एक्सप्रेस, रंगपुर राइडर्स, और खुलना टाइटन्स उन टी 20 घरेलू लीग टीमों में से कुछ हैं जिनका इस पेसर ने अतीत में प्रतिनिधित्व किया है।
हाल ही में समाप्त हुए आईपीएल नीलामी में उनको उनके अपने 2 करोड़ के बेस प्राइस मे मुंबई इंडियंस ने खरीद लिया था। अतः वह इस बार फिर से मुम्बई की जर्सी में खेलते हुए नजर आएंगे।
#2. शोएब मलिक (पाकिस्तान)
सियालकोट में जन्मे शोएब मलिक ने अपने पूरे करियर में सभी पदों पर बल्लेबाजी की है। इस बल्लेबाज-ऑलराउंडर का अंतरराष्ट्रीय करियर लगभग दो दशकों का रहा है। 108 मैचों के साथ वह विश्व में सर्वाधिक अंतराष्ट्रीय टी-20 खेलने वाले खिलाड़ी हैं।
सीमित ओवरों के प्रारूप और विशेष रूप से 2019 क्रिकेट विश्व कप पर ध्यान केंद्रित करने के लिए इस 36 वर्षीय बल्लेबाज ने नवंबर 2015 में टेस्ट क्रिकेट से संन्यास ले लिया था। तीनों प्रारूपों में उनका रिकॉर्ड भी काफी प्रभावशाली है। इन्होंने 35 टेस्ट में 1898 रन बनाने के साथ साथ 32 विकेट भी अपने नाम किए। 274 एकदिवसीय में उन्होंने 7284 रन बनाए और 156 विकेट हासिल किए। टी-20आई में उन्होंने 2190 रन बनाए और 28 विकेट हासिल किए।
यह भरोसेमंद बल्लेबाज फिलहाल विश्व कप की तैयारियों में व्यस्त हैं और दक्षिण अफ्रीकी दौरे में पाकिस्तानी टीम का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं। सभी संभावनाओ में यह इनका आखिरी विश्व कप हैं।
#1. महेंद्र सिंह धोनी (भारत)
2011 विश्व कप के फाइनल में विजयी छक्का जड़ने वाले महेंद्र सिंह धोनी का नाम भारतीय क्रिकेट इतिहास में सुनहरे अक्षरों में लिखा जाएगा।
कई विशेषज्ञ उन्हें अब तक के सर्वश्रेष्ठ विकेटकीपर-बल्लेबाज के रूप में मानते हैं। एक प्रतिभाशाली नेता, धोनी अब एक दशक से अधिक समय से भारतीय टीम के दिल में हैं।
उनके पास कप्तान के रूप में सबसे अधिक (332) अंतर्राष्ट्रीय मैच खेलने का रिकॉर्ड है।
इस 37 वर्षीय विकेटकीपर बल्लेबाज के पास एक शानदार कैरियर है: 90 टेस्ट में 38.09 की औसत से 4876 रन; 50.39 के औसत से 334 एकदिवसीय मैचों में 10279 रन; और 93 टी20 आई में 37.17 की औसत से 1487 रन।
ऑस्ट्रेलिया टीम के खिलाफ हाल ही में समाप्त हुए एकदिवसीय श्रृंखला में लगातार तीन अर्द्धशतक के साथ धोनी ने यह साबित कर दिया है कि उनमे अभी भी दमखम बाकी है।
वनडे में 300 से अधिक कैच और 115 स्टंपिंग के साथ, धोनी विश्व कप के दौरान मेन इन ब्लू के लिए एक प्रमुख खिलाड़ी होंगे।
ऐसे कयास लगाए जा रहे हैं कि धोनी आगामी विश्व कप के बाद क्रिकेट से संन्यास ले लेंगे।
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