दिल्ली कैपिटल्स (DC) के खिलाफ अपनी टीम लखनऊ सुपर जायंट्स (LSG) के लिए मैच जिताऊ पारी खेलने वाले विकेटकीपर-बल्लेबाज क्विंटन डी कॉक (Quinton de Kock) की आकाश चोपड़ा (Aakash Chopra) ने प्रशंसा की है और हैरानी जताई कि मेगा ऑक्शन के दौरान इस खिलाड़ी में ज्यादा टीमों ने दिलचप्सी क्यों नहीं दिखाई।
कल के मैच में क्विंटन डी कॉक ने जबरदस्त बल्लेबाजी की और प्लेयर ऑफ़ द मैच बने। पहले बल्लेबाजी करते हुए दिल्ली ने पृथ्वी शॉ के ताबड़तोड़ अर्धशतक की मदद से निर्धारित 20 ओवर में तीन विकेट खोकर 149 रन बनाये। जवाब में लखनऊ ने दो गेंदें शेष रहते हुए चार विकेट के नुकसान पर 155 रन बनाकर मैच जीत लिया। डी कॉक ने 52 गेंदों में नौ चौके और दो छक्के की मदद से 80 रन बनाये।
अपने यूट्यूब चैनल पर आकाश चोपड़ा ने क्विंटन डी कॉक को मेगा ऑक्शन में LSG की सबसे अच्छी खरीद बताया। उन्होंने कहा,
अगर हम आगामी तीन वर्षों के दृष्टिकोण से देखें, तो लखनऊ सुपर जायंट्स ने सबसे महत्वपूर्ण काम ऑक्शन में केएल राहुल के बाद क्विंटन डी कॉक को हासिल कर के किया। वह मार्की सूची में थे। मुझे नहीं पता कि भगवान किस कारण से टीमों ने उन पर ज्यादा बोली नहीं लगाई।
पूर्व खिलाड़ी ने हैरानी जताई कि ऑक्शन में डी कॉक को 10 करोड़ से भी कम की राशि मिली। उन्होंने कहा,
मैंने सोचा था कि वह 10 करोड़ में बिकेंगे, 12 या 14 करोड़ में भी बिक सकते हैं। सिर्फ 6.75 करोड़ में बड़ी आसानी से खरीद लिया गया था, एक बहुत अच्छी खरीद थी। बाएं हाथ के आक्रामक बल्लेबाज हैं और विकेटकीपिंग भी करते हैं।
आईपीएल 2022 मेगा ऑक्शन में लखनऊ सुपर जायंट्स के अलावा तीन और टीमों ने भी डी कॉक में दिलचस्पी दिखाई थी लेकिन बड़ी राशि देने के मामले में उन्होंने कदम पीछे खींच लिए।
क्विंटन डी कॉक ने एनरिक नॉर्टजे के खतरे को कम कर दिया - आकाश चोपड़ा
दिल्ली कैपिटल्स को अपने प्रमुख तेज गेंदबाज एनरिक नॉर्टजे का बेसब्री से इन्तजार था और उन्होंने लखनऊ के खिलाफ मुकाबले में वापसी की लेकिन डी कॉक ने उनके खिलाफ बेहद ही जबरदस्त बल्लेबाजी करते हुए प्रभावहीन साबित कर दिया। चोपड़ा ने नॉर्टजे के खिलाफ डी कॉक की बल्लेबाजी को लेकर कहा,
अगर हम मुकाबले की बात करें, तो एनरिक नॉर्टजे विपक्षी टीम के दृष्टिकोण से सबसे बड़ा खतरा थे। हर कोई लंबे समय से उनका इंतजार कर रहा था। दिल्ली सोच रही थी कि वह आकर उनकी सभी समस्याओं का समाधान करेंगे। उन्होंने (डी कॉक) पहले ही ओवर में बाउंड्री के बाद बाउंड्री मारना शुरू कर दिया। डी कॉक ने विकेटों के गिरने का फ़र्क़ नहीं पड़ने दिया और मैच को अंत तक लेकर गए तथा आउट होने से पहले अपनी टीम के पक्ष में कर दिया था।
डी कॉक जब आउट हुए तब लखनऊ को 28 रनों की दरकार थी। अंत में क्रुणाल पांड्या और आयुष बदोनी ने मैच को फिनिश किया और अपनी टीम को जीत दिला दी।