ऑस्ट्रेलिया (Australia) के खिलाफ पिंक बॉल टेस्ट को लेकर पूर्व भारतीय खिलाड़ी सचिन तेंदुलकर ने भारतीय टीम (Indian Team) को कुछ टिप्स दिए हैं। सचिन तेंदुलकर (Sachin Tendulkar) ने पिंक बॉल टेस्ट के लिए अलग सोचने की जरूरत बताई। इसके अलावा सचिन तेंदुलकर ने कहा कि पारम्परिक अप्रोच से अलग सोचते हुए इसमें शुरुआती सेशन में तेज खेलने की आवश्यकता है।
इंडिया टुडे से बातचीत करते हुए सचिन तेंदुलकर ने कहा कि पिंक बॉल टेस्ट मैच में शुरुआती सेशन में नई गेंद पर ज्यादा शॉट खेलने चाहिए। उन्होंने कहा कि पारम्परिक अप्रोच से अलग हटकर ऐसा करना चाहिए। तेंदुलकर ने ऐसा इसलिए कहा क्योंकि लाइट्स की रौशनी में पिंक बॉल को खेलना मुश्किल होता है इसलिए पहले रन बनाने का ऑप्शन उन्होंने बताया।
सचिन तेंदुलकर का पूरा बयान
तेंदुलकर ने कहा कि पहले सत्र में अधिक एक्सप्रेसिव होना महत्वपूर्ण है क्योंकि शाम के दौरान बल्लेबाजी मुश्किल हो जाती है जब पिंक पिंक तेज गेंदबाजों के लिए असाधारण हलचल पेशकश करती है। उन्होंने कहा कि पहले भी टीमों ने शाम के समय में पारी घोषित करते हुए विपक्षी टॉप ऑर्डर को टेस्ट किया है। भारत को भी पहले सेशन में रन बनाने वाली अप्रोच के साथ जाना चाहिए।
पूर्व भारतीय खिलाड़ी ने यह भी कहा कि जो भी मैंने पिंक बॉल टेस्ट के दौरान देखा है, वह यही है कि सूरज अस्त होता है और तापमान नीचे आता है तथा ओस आने से पहले पिच से तेज गेंदबाजों के लिए एक मूवमेंट दिखाई देता है। इससे न केवल आप गेंदबाज का सम्मान करते हैं बल्कि आप परिस्थितियों का भी सम्मान करते हैं।
सचिन तेंदुलकर ने ऑस्ट्रेलिया के लोकल समय के अनुसार शाम 4 बजकर 40 मिनट से 6 बजकर 30 मिनट यानी दो घंटों में गेंदबाजों और परिस्थितियों को सम्मान देते हुए संभलकर साझेदारी करने की जरूरत बताई। देखना होगा कि भारतीय टीम इस मैच में किस अप्रोच के साथ जाती है।