दक्षिण अफ्रीका (South Africa) के पूर्व तेज गेंदबाजी ऑल राउंडर जॉन वॉटकिंस (John Watkins) का 98 साल की उम्र में निधन हो गया। निधन के समय वह सबसे उम्रदराज जीवित खिलाड़ी थे। दक्षिण अफ्रीका के डरबन शहर में उन्होंने आखिरी सांस ली। उन्हें 10 दिनों पहले कोरोना वायरस ने अपनी चपेट में ले लिया था और वह ठीक नहीं हो पाए।
वॉटकिंस ने 1949 में जोहान्सबर्ग में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट क्रिकेट में पदार्पण किया, वह शानदार नियंत्रण के साथ गेंदबाजी करने के लिए प्रसिद्ध थे। 15 टेस्ट मैचों के करियर में उन्होंने 2 से भी कम की इकोनमी रेट से रन देते हुए 29 विकेट हासिल किये और बल्ले से 612 रन भी बनाए। उनके टेस्ट करियर का मुख्य आकर्षण ऑस्ट्रेलिया में 1952-53 सीज़न में आया जब उन्होंने 408 रन बनाए और 16 स्केल के साथ समाप्त हुए।
वॉटकिंस को स्ट्रोक प्ले के लिए जाना जाता था और उन्होए मेलबर्न टेस्ट मैच में दोनों पारियों में अर्धशतक जमाए थे। इस मैच में मेहमान टीम को 4 विकेट से जीत दर्ज करने का मौका मिला था। इसके साथ ही सीरीज 2-2 पर समाप्त हो गई और ऐसा पहली बार हुआ जब ऑस्ट्रेलिया की टीम दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ कोई टेस्ट सीरीज में जीत दर्ज करने में असफल रही।
उनका गेंदबाजी में बेस्ट 22 रन देकर 4 विकेट रहा जो न्यूजीलैंड के खिलाफ 1952-53 में आया था। वॉटकिंस ने अपने करियर का अंतिम टेस्ट मुकाबला इंग्लैंड की टीम के खिलाफ खेला था। रोडेशिया के खिलाफ 1947 में उन्होंने फर्स्ट क्लास डेब्यू किया था। फर्स्ट क्लास क्रिकेट में उन्होंने कुल 60 मुकाबले खेले और 2000 से ज्यादा रन बनाए। इस दौरान उन्होंने गेंदबाजी में 96 विकेट हासिल किये। क्रिकेट दक्षिण अफ्रीका ने उनके निधन पर परिवार और दोस्तों के प्रति संवेदना जताई है। दक्षिण अफ्रीका क्रिकेट के मुख्य कार्यकारी ने वॉटकिंस के निधन पर अपनी प्रतिक्रिया दी।