Harbhajan Singh Slams BCCI for Poor Test Pitches: भारतीय टीम आखिरी बार श्रीलंका के खिलाफ वनडे सीरीज में एक्शन में दिखी थी, जिसमें मेन इन ब्लू के दिग्गज बल्लेबाज स्पिन गेंदबाजी के आगे बेबस नजर आए थे। टीम इंडिया के पूर्व स्पिनर हरभजन सिंह ने इसके पीछे की वजह का खुलासा किया है और इसके लिए भारत की खराब टेस्ट पिचों को दोषी ठहराया है।
गौरतलब हो कि श्रीलंकाई टीम 1997 के लम्बे इंतजार के बाद भारत के खिलाफ वनडे सीरीज में सफल हुई थी। सीरीज हारने के बाद कई क्रिकेट एक्सपर्ट्स ने टीम इंडिया के बल्लेबाजों की स्पिन के खिलाफ खेलने की तकनीक पर सवाल उठाए थे। हरभजन सिंह के मुताबिक के भारतीय पिचें काफी टर्न लेती हैं और ये हमारे बल्लेबाजों के खराब प्रदर्शन का कारण है। भज्जी ने सामान्य पिचों पर खेलने का सुझाव भी दिया।
हमने अपने बल्लेबाजों का मनोबल गिराया
मीडिया को दिए इंटरव्यू में उन्होंने कहा, 'हमने ऐसी पिचों पर खेलना शुरू कर दिया है जो बहुत ज्यादा टर्न लेती हैं। हम जीतना चाहते थे और हम जीत भी रहे हैं, लेकिन हम ढाई दिन में जीतना चाहते। मुझे लगता है, अगर हमने सामान्य पिचें बनाई होतीं जो तीसरे और चौथे दिन से ही टर्न लेने लगतीं, तो भी हम जीत सकते हैं। लेकिन बल्लेबाजों को जमने का समय मिल जाता और हम स्पिनरों के खिलाफ अपने बल्लेबाजों की समस्याओं पर चर्चा नहीं कर रहे होते। हमने अपने बल्लेबाजों का आत्मविश्वास कम कर दिया क्योंकि उन पिचों पर कोई भी सस्ते में आउट हो जाता है।'
गौरतलब है कि 2023 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टेस्ट सीरीज के दौरान भारतीय पिचों की आलोचना की गई थी, जहां पहले तीन मैच पहले तीन दिनों के भीतर ही खत्म हो गए थे। इससे पहले, ICC मैच रेफरी जवागल श्रीनाथ ने 2022 में श्रीलंका के खिलाफ पिंक बॉल टेस्ट में इस्तेमाल की गई बेंगलुरु की पिच को औसत से कम रेटिंग दी थी। हालांकि, इस साल की शुरुआत में इंग्लैंड के खिलाफ खेली गई आखिरी टेस्ट सीरीज में पिचों में काफी सुधार देखने को मिला था।
अगर हम अच्छी पिच पर खेलेंगे तो कोई भारत को हरा नहीं पाएगा
पूर्व भारतीय स्पिनर ने बीसीसीआई को पिचों में सुधार करने की सलाह दी और कहा, 'हमारे पास अभी भी गलती सुधारने का मौका है। अगर हम अच्छी पिचों पर खेलते हैं, तो मुझे नहीं लगता कि कोई भी भारत को हरा सकता है। भारत के पास जो तेज गेंदबाज हैं, जो स्पिन अटैक है, वे निश्चित रूप से आपको दिन 5 में टेस्ट जिता देंगे। अगर आप अच्छी पिचों पर खेलते हैं, तो बल्लेबाज रन बनाएंगे और जब वे रन बनाएंगे तो उनका आत्मविश्वास बढ़ेगा। इसलिए मुझे नहीं लगता कि हमारे बल्लेबाज स्पिन खेलना भूल गए हैं, लेकिन पिछले कुछ सालों से हलात ऐसे हो गए हैं कि यह लगभग असंभव हो गया है।