जिम्बाब्वे (Zimbabwe) के पूर्व कप्तान ब्रेंडन टेलर (Brendan Taylor) ने आज सोशल मीडिया पर सनसनीखेज खुलासा करते हुए स्पॉट फिक्सिंग को लेकर बात की और साथ ही अपने करियर व मेंटल हेल्थ को लेकर भी दुनिया के सामने अपने विचार रखे हैं। टीम इंडिया (Team India) के ऑफ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन (Ravichandran Ashwin) ने स्पॉट फिक्सिंग पर ब्रेंडन टेलर के बयान पर प्रतिक्रिया देते हुए पोकर संदर्भ का इस्तेमाल किया। 35 वर्षीय दिग्गज गेंदबाज ने कहा कि पोकर टेबल पर एक हाथ से दांव लगाने या मोड़ने का विकल्प मिलता है, और यह कि कभी-कभी मोड़ना और छोड़ना महत्वपूर्ण होता है।
हालांकि, ब्रेंडन टेलर ने दावा किया कि स्पॉट फिक्सिंग करने के लिए उन्हें ब्लैकमेल किया गया था और वह कभी भी किसी भी तरह के फिक्सिंग में शामिल नहीं थे। पूर्व विकेटकीपर ने आगे कहा कि आईसीसी की भ्रष्टाचार एंटी-करप्शन यूनिट को इस घटना की रिपोर्ट करने में उन्हें चार महीने लग गए क्योंकि उन्हें अपनी और परिवार की जान का खतरा था। उनके इस बयान पर रविचंद्रन अश्विन ने ट्विटर पर कहा कि, 'जागरूकता फैलाओ, अधिकांश बार पोकर टेबल पर हमें हाथ में दांव लगाने या मोड़ने का विकल्प दिया जाता है। टेबल को मोड़ना और छोड़ना महत्वपूर्ण है। ब्रेंडन और उनके परिवार की हिम्मत बनी रही।'
रविचंद्रन अश्विन ने ब्रेंडन टेलर का समर्थन परोक्ष रूप से किया है। उन्होंने उनके और परिवार की सुरक्षा में उठाये गए इस फैसले का स्वागत किया है। इसलिए उन्होंने पोकर खेल का उदाहरण देते हुए उनका समर्थन किया है। टेलर ने अपनी इस पोस्ट में कई गंभीर खुलासे किये, जिसमें एक भारतीय बिजनेसमैन ने उन्हें स्पॉट फिक्सिंग करने के लिए उनको ब्लैकमेल किया था। क्योंकि उन लोगों ने टेलर को नशे का सेवन करवाया और उनका वीडियो बना लिया। इसलिए अपनी जान बचाकर वह पैसे लेकर वहां से निकल आये और फिर चार महीने बाद उन्होंने आईसीसी से इसकी शिकायत की, जिसके बाद आईसीसी उनपर बड़ी कार्यवाई करने जा रहा है।