भारत और न्यूजीलैंड (IND vs NZ) के बीच मुंबई खेले जा रहे दूसरे टेस्ट मैच के पहले दिन थर्ड अंपायर के द्वारा एक विवादास्पद फैसला देखने को मिला, जिसको लेकर काफी चर्चा हो रही है। भारतीय पारी के 30वें ओवर में पुजारा का विकेट का गिरने के बाद बल्लेबाजी करने आये भारतीय कप्तान विराट कोहली (Virat Kohli) को ओवर की आखिरी गेंद पर एलबीडबल्यू आउट दिया गया और इसको लेकर फैंस खुश नहीं दिखे।
एलबीडबल्यू आउट दिए जाने के बाद विराट कोहली ने डीआरएस लिया। थर्ड अंपायर वीरेंदर शर्मा ने अलग-अलग एंगल से रीप्ले देखे और और अल्ट्राएज की भी मदद ली, जिसमें नजर आया कि गेंद बैट और पैड में एक साथ लगी है। काफी देर रीप्ले देखने के बाद निर्णायक सबूत नहीं होने की वजह से थर्ड अंपायर ने ऑनफील्ड अंपायर अनिल चौधरी को अपने निर्णय पर कायम रहने को कहा और इस तरह विराट कोहली बिना खाता खोले ही पवेलियन लौट गए।
जानिये क्या कहता है नियम
MCC Laws of Cricket के कानून 36.2.2 अनुसार,
यदि गेंद का स्ट्राइकर और बल्ले के साथ एक ही समय पर संपर्क होता है तो यही माना जायेगा कि गेंद का पहले बल्ले के साथ संपर्क हुआ है।
भारतीय टीम के पूर्व बल्लेबाजी कोच संजय बांगर भी इस निर्णय से खुश नहीं दिखे और उन्होंने कहा कि गेंद के पैड पर लगने से पहले साफ़ तौर पर उसमें विचलन था। स्टार स्पोर्ट्स पर उन्होंने कहा,
मुझे निश्चित रूप से लगा कि गेंद पहले बल्ले पर लगी है। आप विचलन देख सकते हैं, जहां गेंद बाद में जा रही थी। साफ है कि गेंद पहले बल्ले पर लगी, उस विचलन को देखो। अब गेंद का वापस आना और पैड से टकराना सिर्फ इसलिए है क्योंकि उस पर पर बल्ले का कुछ भाग लगा था। अन्यथा, कोई मौका नहीं था कि गेंद इस तरह से विचलन करती। तो, अंपायर की ओर से स्पष्ट रूप से एक गलती है।
थर्ड अंपायर के द्वारा रीप्ले को धीमा करके देखने में, मुश्किल बढ़ जाती है। इसलिए, उसके लिए रियल टाइम रिव्यु देखना एक अच्छी बात है, और फिर वह विचलन देख सकते थे। इसे धीमा करने से अंपायर सही निर्णय लेने में भ्रमित होता है।
भारतीय लगातार कुछ विकेट गिरने के बाद मुश्किल में दिख रही थी लेकिन मयंक अग्रवाल ने दूसरे छोर से शानदार बल्लेबाजी जारी रखी और खुद को मिले मौके को पूरी तरह से भुनाने में लगे हुए हैं।