भारतीय क्रिकेट टीम (Indian Cricket Team) के पूर्व विस्फोटक बल्लेबाज वीरेंदर सहवाग (Virender Sehwag) को लेकर एक बड़ी खबर सामने आ रही है। वीरेंदर सहवाग टीम इंडिया के अगले चीफ सेलेक्टर हो सकते हैं। हालांकि इस चीज में सबसे बड़ा रोड़ा ये है कि चीफ सेलेक्टर की सैलरी उतनी ज्यादा नहीं होती है और इसी वजह से शायद वीरेंदर सहवाग इस ऑफर को स्वीकार ना करें।
चेतन शर्मा ने एक स्टिंग ऑपरेशन के बाद चीफ सेलेक्टर पद से इस्तीफा दे दिया था। उसके बाद से ही शिव सुंदर दास चीफ सेलेक्टर के पद पर अंतरिम तौर पर काम कर रहे हैं। अब वर्ल्ड कप में ज्यादा समय नहीं बचा है और इसी वजह से बीसीसीआई जल्द से जल्द फुल टाइम चीफ सेलेक्टर की नियुक्ति करना चाहती है। चुंकि चेतन शर्मा नॉर्थ जोन के थे इसलिए उनकी जगह नॉर्थ जोन से ही किसी को इस पद के लिए चुनने का संविधान है और वीरेंदर सहवाग ही एक बड़े विकल्प के तौर पर दिख रहे हैं।
चेयरमैन ऑफ सेलेक्टर को मिलते हैं सालाना एक करोड़ रुपए
हालांकि पीटीआई की खबर के मुताबिक वीरेंदर सहवाग के चेयरमैन ऑफ सेलेक्टर बनने में सबसे बड़ी बाधा ये है कि बीसीसीआई से इनको मिलने वाली सैलरी उतनी ज्यादा नहीं होती है। सीनियर सेलेक्शन पैनल के चेयरमैन को सालाना एक करोड़ रुपए मिलते हैं। जबकि चार अन्य सदस्यों को 90 लाख रुपए सालाना मिलता है। ऐसे में शायद ही वीरेंदर सहवाग इस ऑफर को स्वीकार करें।
बीसीसीआई के एक अधिकारी ने नाम ना छापने की शर्त पर बताया,
सीओए के समय में वीरेंदर सहवाग से हेड कोच पद के लिए अप्लाई करने को कहा गया था। जब उन्होंने नहीं किया तो फिर अनिल कुंबले कोच बने थे। ऐसा लगता नहीं है कि वो चीफ सेलेक्टर पद के लिए अप्लाई करेंगे। इसके अलावा उन जैसे बड़े खिलाड़ी के लिहाज से पैकेज भी उतना नहीं है।