2020 में टीम इंडिया (Indian Cricket Team) के पूर्व कप्तान विराट कोहली (Virat Kohli) ने एक लाइव प्रोग्राम के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को टीम के चयन प्रक्रिया में यो यो टेस्ट के महत्व के बारे में बताया था। अभी हाल में ही भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड ने इस टेस्ट को फिर से चयन प्रकिया में लागू करने का फैसला लिया है। इसके बाद से कोहली का यह दो साल पुराना वीडियो सोशल मीडिया पर तेजी से वायरल हो रहा है।
दो वर्ष पुराने इस वीडियो में कोहली भारतीय क्रिकेटरों के लिए फिटनेस में सुधार के महत्व और करियर में यो-यो टेस्ट की भूमिका के बारे में बताते हैं। इसमें उन्हें यह कहते हुए सुना जा सकता है कि फिटनेस के लिहाज से यह टेस्ट काफी अहम है। अगर हम वैश्विक फिटनेस स्तर की बात करें तो अन्य टीमों की तुलना में हमारा फिटनेस स्तर अभी भी कम है और हम इसे उठाना चाहते हैं. जो एक बुनियादी आवश्यकता है।
इस दौरान पीएम मोदी ने 2021 तक भारत के सभी प्रारूपों में कप्तान रहे विराट से मजाक में पूछा कि क्या उन्हें भी इस टेस्ट से गुजरना होता है? इस पर कोहली ने जवाब देते हुए कहते हैं कि, मैं वह खिलाड़ी हूं जो सबसे पहले दौड़ने के लिए जाता हूं और यह शर्त है कि अगर मैं असफल होता हूं तो मैं चयन के लिए भी उपलब्ध नहीं रहूंगा। उस संस्कृति को स्थापित करना महत्वपूर्ण है और इससे समग्र फिटनेस स्तर में सुधार होगा।
गौरतलब है कि कोहली का यह वीडियो बीते रविवार को बीसीसीआई द्वारा चयन प्रक्रिया के नियमों में बदलाव करने के फैसले के बाद से वायरल हो रहा है। फैंस इस वीडियो के जरिये कोहली की दूरदर्शी सोच की काफी तारीफ कर रहे हैं।
टीम इंडिया की समीक्षा बैठक में लिए गए अहम फैसले
1 दिसंबर को टीम इंडिया की समीक्षा बैठक के बाद एक आधिकारिक बयान में बीसीसीआई ने कहा
उभरते खिलाड़ियों को राष्ट्रीय टीम में चयन के योग्य होने के लिए घरेलू स्तर में पर्याप्त खेलना होगा। यो -यो टेस्ट और डेक्सा अब चयन मानदंड का हिस्सा होंगे और खिलाड़ियों के केंद्रीय पूल के अनुकूलित रोडमैप में लागू होंगे। पुरुषों के एफटीपी और वर्ल्ड कप 2023 की तैयारियों को ध्यान में रखते हुए, NCA सभी आईपीएल फ्रेंचाइजी के साथ मिलकर आईपीएल 2023 में भाग लेने वाले लक्षित भारतीय खिलाड़ियों की निगरानी के लिए काम करेगा।