पिछले कुछ वर्षों से अंडर-19 क्रिकेट विश्व कप से भारत को कई प्रतिभाशाली खिलाड़ी मिले हैं। यह वे खिलाड़ी थे जिन्होंने अंडर-19 विश्व कप में अपने शानदार प्रदर्शन के दम पर राष्ट्रीय टीम में जगह बनाई है।
इस टूर्नामेंट से भारत को वीरेन्दर सहवाग, युवराज सिंह, विराट कोहली, शिखर धवन, सुरेश रैना, दिनेश कार्तिक, जैसे दिग्गज खिलाड़ी मिले हैं।
लेकिन अब तक खेले गए सभी अंडर-19 विश्व कप टूर्नामेंटों में से साल 2008 के संस्करण को सबसे ज़्यादा याद किया जाता है क्योंकि इस से भारत को विराट कोहली जैसा महान क्रिकेटर मिला।
केवल भारत ही नहीं, बल्कि क्रिकेट खेलने वाले दुनिया के अन्य देशों को भी कई प्रतिभाशाली खिलाड़ी मिले हैं।
तो आइए एक नज़र डालते हैं छह ऐसे विदेशी खिलाड़ियों पर, जिन्होंने विराट कोहली के खिलाफ 2008 के अंडर-19 विश्व कप में खेला था और अब आईसीसी विश्व कप में भी विराट कोहली के साथ उनका आमना-सामना होगा:
#5. ट्रेंट बोल्ट
ट्रेंट बोल्ट न्यूजीलैंड के उन तीन स्टार खिलाड़ियों में से एक हैं जिन्होंने 2008 अंडर -19 विश्व कप में भाग लिया था।
बाएं हाथ के तेज गेंदबाज इस विश्व कप में न्यूजीलैंड के लिए दूसरे सबसे ज़्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज थे और उन्होंने 5 मैचों में 10.94 की औसत से 11 विकेट हासिल किए थे। अपने शानदार प्रदर्शन के दम पर उन्होंने 2009 में अपनी राष्ट्रीय टीम में जगह बनाई।
उन्हें 19 साल की उम्र में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ एकदिवसीय श्रृंखला के लिए चुना गया था, लेकिन वह प्लेइंग इलेवन में जगह नहीं बना पाए। इसके बाद बाएं हाथ के तेज गेंदबाज ने 2011 में होबार्ट में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अपना टेस्ट डेब्यू किया।
बोल्ट ने अब तक 61 टेस्ट, 79 वनडे और 25 टी-20 खेले हैं, जिसमें क्रमशः 246, 147 और 37 विकेट झटके हैं। तो इस बार विश्व कप में हम उन्हें विराट कोहली के खिलाफ गेंदबाज़ी करते देखेंगे।
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#4. क्रिस वोक्स
2008 में खेले गए अंडर -19 विश्व कप में इस इंग्लिश आलराउंडर ने 3 विकेट झटके थे और उन्हें बल्लेबाजी का मौका नहीं मिला था। इस टूर्नामेंट के बाद, 2008 में वार्विकशायर फर्स्ट-क्लास इलेवन का प्रतिनिधित्व करते हुए, उस सीजन में 20.57 की औसत से 42 विकेट लिए थे।
ऐसे शानदार प्रदर्शन के बाद क्रिस वोक्स को अपनी राष्ट्रीय टीम में शामिल होने का मौका मिला और इस आल राउंडर ने जनवरी 2011 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टी -20 क्रिकेट से अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में अपना पदार्पण किया।
वह टी 20 में पर्याप्त रूप से 2 विकेट के साथ सभ्य थे। इसके बाद वह ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ इंग्लैंड की वनडे टीम का भी हिस्सा रहे। अपने दूसरे वनडे में, वोक्स ने ब्रिस्बेन में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ अपने करियर का सर्वश्रेष्ठ गेंदबाज़ी आँकड़ा (6/45) बनाया।
2013 की एशेज सीरीज़ में उन्होंने अपने टेस्ट करियर का आगाज़ किया। 30 वर्षीय आल-राउंडर इस समय इंग्लैंड की वनडे टीम का अभिन्न हिस्सा हैं और आगामी विश्व कप में हम उन्हें विराट कोहली के खिलाफ खेलते देखेंगे।
बर्मिंघम में पैदा हुए क्रिकेटर ने 26 टेस्ट, 83 वनडे और 8 टी-20 मैचों में क्रमशः 72, 116 और 7 विकेट लिए हैं।
#3. टिम साउदी
न्यूजीलैंड के टिम साउदी ने 2006 और 2008 के अंडर-19 विश्व कप में अपने शानदार प्रदर्शन से सुर्ख़ियां बटोरी थीं। उन्होंने इस टूर्नामेंट में खेले 5 मैचों में 17 विकेट लिए और मैन ऑफ द टूर्नामेंट का पुरस्कार जीता था। इसके बाद साउदी को उसी साल राष्ट्रीय टीम में चुना गया।
इंग्लैंड के खिलाफ घरेलू टेस्ट श्रृंखला में अपने पहले टेस्ट की दूसरी पारी में उन्होंने 5 विकेट लेने का कारनामा किया। उन्होंने उसी साल इंग्लैंड के खिलाफ अपने वनडे करियर का भी आगाज़ किया।
लेकिन उनका सबसे शानदार प्रदर्शन आया 2011 के विश्व कप में जहां साउदी ने 18.33 की औसत से 18 विकेट लिए और टूर्नामेंट के दूसरे सबसे ज़्यादा विकेट लेने वाले गेंदबाज़ रहे।
इस 30 वर्षीय कीवी तेज़ गेंदबाज़ ने 65 टेस्ट, 139 वनडे और 57 टी-20 मैचों मे 2500 के करीब रन बनाए और लगभग 500 अंतरराष्ट्रीय विकेट हासिल किए है, तो एक बार फिर से आगामी विश्व कप में उनका विराट कोहली के साथ आमना-सामना होगा।
#2. स्टीव स्मिथ
एक लेग स्पिनर के रूप में अपने क्रिकेट करियर का आगाज़ करने वाले स्टीव स्मिथ को अपने करियर की शुरुआत में काफी आलोचना का शिकार होना पड़ा था।
स्मिथ ने 2008 के अंडर -19 विश्व कप में ऑस्ट्रेलिया का प्रतिनिधित्व किया और 2010 में पाकिस्तान के खिलाफ एक लेग स्पिनर के रूप में अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट की शुरुआत की, लेकिन उस समय उम्मीद के मुताबिक प्रदर्शन ना करने की वजह उन्हें टीम से बाहर होना पड़ा।
लेकिन 2013 में स्मिथ ने एशेज सीरीज़ में जबरदस्त वापसी की और गेंद के साथ-साथ बल्ले से भी शानदार प्रदर्शन किया और इसके बाद स्मिथ ने कभी पीछे मुड़ कर नहीं देखा। बाद में उन्होंने 2014-15 में भारत के खिलाफ घरेलू टेस्ट सीरीज में 700 से अधिक रन बनाए और टेस्ट रैंकिंग में अव्वल नंबर पर पहुंच गए। इसके बाद उन्हें ऑस्ट्रेलियाई टीम का नेतृत्व करने का मौका मिला।
इस प्रकार अब तक 29 वर्षीय इस बल्लेबाज़ ने 64 टेस्ट, 108 एकदिवसीय और 30 टी-20 मैचों में क्रमशः 61.38, 41.84 और 21.55 की औसत से 6199, 3431 और 431 रन बनाए हैं। एक साल का प्रतिबंध झेलने के बाद आगामी विश्व कप में वापसी कर रहे स्मिथ इस बार भी विश्व कप अपने पास रखने की पूरी कोशिश करेंगे।
#1.केन विलियमसन
बिना किसी संदेह के, मार्टिन क्रो के बाद न्यूजीलैंड के सर्वश्रेष्ठ बल्लेबाज, केन विलियमसन ने अंडर-19 विश्व कप 2008 में अपनी टीम की कमान संभाली थी।
हालांकि कीवी टीम विश्व कप खिताब तो नहीं जीत पाई लेकिन फिर भी विलियमसन की नेतृत्व क्षमता और स्पिन गेंदबाजी की काफी प्रशंसा हुई थी।
इसके बाद केन ने 2010 में भारत के खिलाफ वनडे मैच से अपने अंतर्राष्ट्रीय क्रिकेट करियर का आगाज़ किया।
अपनी पहली 2 पारियों में वह बिना खाता खोले ही आउट हो गए लेकिन उसी साल बांग्लादेश के खिलाफ शतकीय पारी खेलकर टेस्ट टीम में भी जगह बनाई। अपने पहली ही टेस्ट में शतक जड़कर विलियमसन ने आलोचकों का मुँह बंद करा दिया। उसके बाद से उन्होंने कभी पीछे मुड़कर नहीं देखा।
इस प्रकार अब तक केन ने 72 टेस्ट, 139 वनडे और 57 टी-20 खेले हैं, जिनमें क्रमशः 6139, 5555 और 1505 रन बनाए हैं।
लेखक: प्रसाद मंदती अनुवादक: आशीष कुमार